Alwar: राजस्थान का व्यापारी अपने 15 लाख रुपए वसूलने हरियाणा निवासी कारोबारी के पास गया था जहां इस व्यापारी का रेवाड़ी में हत्या हो गयी, जिसका शव एक गोदाम में जमीन में गाड़ दिया था. व्यापार में विश्वास के कत्ल की यह वो कहानी है जिसने सबको झकझोर कर रख दिया.


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10 अगस्त को अलवर से रेवाड़ी के लिए निकला था
अलवर में स्कीम दो के रहने वाले मेटल स्क्रैप व्यापारी मंगत अरोड़ा 10 अगस्त को अलवर से रेवाड़ी एक व्यापारी से अपने पैसे लेने के लिए निकले थे, लेकिन दोपहर बाद उनका मोबाइल स्विच ऑफ हो गया. इधर, शहर में व्यपारी मंगत अरोड़ा के अपहरण सहीत कई तरह की चर्चाएं होने लगी, क्योंकि हाल ही कुछ दिन पूर्व भी एक राखी व्यपारी की अपहरण कर उसकी हत्या कर दी गयी थी.


मंगत अरोड़ा के अचानक गायब होने से शहर में व्यपारियों में आक्रोश बढ़ने लगा, शाम तक मंगत अरोड़ा का कोई सुराग नहीं लगा तो परिजनों को चिंता होने लगी, परिजनों ने अलवर कोतवाली में गुमशुदगी की रिपोर्ट लिखाई.


शहर में मंगत अरोड़ा के दो दिनों तक भी पता नहीं चलने पर आक्रोश बढ़ता गया, परिजनों को चिंता सताने लगी इसके बाद व्यापारियों ने एसपी तेजस्वीनी गौतम से मुलाकात की, एसपी ने तुरन्त जीरो एफआईआर दर्ज कर रेवाड़ी एसपी को भिजवाई , अलवर से परिजन और उनके दोस्त लगातार मंगत अरोड़ा के मोबाइल पर सम्पर्क करते रहे लेकिन मोबाइल लगातार बंद मिला.


FIR दर्ज होने के बाद रेवाड़ी पुलिस ने जांच शुरू की 
एफआईआर दर्ज होने के बाद रेवाड़ी पुलिस ने जांच शुरू की जिसमें रेवाड़ी में मंगत अरोड़ा अपनी बाइक से निकलता हुआ तो नजर आया लेकिन दोपहर बाद उसकी कोई लोकेशन नहीं मिल पाई. जिस व्यपारी अंकित बहालिया से मंगत अरोड़ा अपने पैसे लेने गए थे उससे भी पूछताछ की गई उसने बताया की मंगत अरोड़ा उससे सुबह करीब 11 बजे दस लाख रु लेकर निकल गए थे, लेकिन वह कहां गए उन्हें नहीं पता.


इधर लगातार मंगत अरोड़ा के फोन पर सम्पर्क किया जाता रहा ,अचानक चार दिन बाद जब मंगत अरोड़ा के दोस्त बंटी सरदार ने फोन किया तो अचानक घण्टी चली गयी जिसे एक ट्रक चालक ने फोन उठाया और उसने कहा कोई उसके ट्रक में कोई यह फोन बिलासपुर में छोड़ गया है , तुरन्त परिजन वहां पहुंचे और रेवाड़ी पुलिस को भी इसकी जानकारी दी गयी.


पुलिस ने मोबाइल की कॉल डिटेल्स पर तहकीकात शुरू की 
पुलिस ने मोबाइल की कॉल डिटेल्स और रिकॉर्डिंग के आधार पर तहकीकात शुरू की. जिसमे शक की सुई फिर वही रेवाड़ी के व्यपारी अंकित बहालिया पर जा पहुंची , पुलिस ने अंकित को बुलाकर सख्ती से पूछताछ की. जिसमे अंकित के बताए समय के अनुसार पैसे लेकर जाने की बात कही गयी थी वही कॉल डिटेल में अंकित ने उसे उस समय से काफी देर बाद बुलाया था. इस अंतर से पुलिस का शक और गहरा गया, लेकिन अंकित तब तक फरार हो चुका था.


मंगत की हत्या की योजना बना रखी थी
पुलिस ने इस मामले अंकित के ममेरे भाई मनोज और उसके एक साथी दीपक को भी डिटेन किया तो सारा मामला खुलता चला गया. दरअसल मंगत अरोड़ा अलवर में मेटल स्क्रैप के कबाड़ का व्यापार करता था और वह अपना माल रेवाड़ी में व्यपारी अंकित अरोड़ा को देता था, मंगत अरोड़ा ने अंकित से करीब 15 लाख से ज्यादा रु लेने थे, जिसके चलते दस अगस्त को अंकित ने मंगत अरोड़ा को रेवाड़ी पैसे ले जाने के लिए बुलाया था लेकिन अंकित ने पहले से ही मंगत की हत्या की योजना बना रखी थी.


गले मे तार डालकर गला दबा कर हत्या कर दी
मंगत अरोड़ा दस अगस्त को जब रेवाड़ी अपने पैसे लेने अंकित बहालिया के पास पहुंचा तो अंकित ने उसे रेवाड़ी के उत्तम नगर स्थित अपने गोदाम पर बुलाया. मंगत अपनी मोटरसाइकिल से वहां पहुंच गया, जहां अंकित के अलावा उसका ममेरा भाई मनोज और उसका एक साथी दीपू मौजूद था. अंकित ने मंगत को कुर्सी पर बैठाया और बातों में लगाये रखा, पीछे से मंगत के गले मे तार डालकर उसका गला दबा कर हत्या कर दी.


इतना ही नहीं हत्या करने के बाद मंगत अरोड़ा के शव को ठिकाने लगाने के लिए गोदाम में पहले से ही चार पांच फीट का खड्डा खोदा हुआ था जिसमे मंगत के शव को दबाकर उपर से पक्का फर्श बना दिया गया.


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रेवाड़ी पुलिस ने मुख्य आरोपी को लुधियाना से गिरफ्तार कर लिया
इस मामले में रेवाड़ी पुलिस ने मुख्य आरोपी अंकित बहालिया को लुधियाना से गिरफ्तार कर लिया गया, जिसमें मनोज और दीपक को पहले ही गिरफ्तार किया जा चुका है, पुलिस अभी अनुसंधान में जुटी है, फिलहाल व्यापार में विश्वास के कत्ल की इस कहानी ने सबको झकझोर कर रख दिया है.


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