Rajasthan News: राजस्थान में पार्वती-कालीसिंध-चंबल ईस्टर्न राजस्थान कैनाल प्रोजेक्ट (पीकेसी-ईआरसीपी) को बनाने में 70 हजार करोड़ रुपये से अधिक का खर्चा होगा. इसी के चलते राजस्थान सरकार की ओर से केन्द्रीय जल आयोग को सौंपी विस्तृत परियोजना रिपोर्ट (डीपीआर) में  यह लागत सामने आई है. 


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इसके साथ इसी काम में 158 छोटे-बड़े बांध तक लाइन बिछाने का भी है.  पहले अनुमानित और डीपीआर में आंकी गई लागत में लगभग 23 हजार करोड़ रुपये की अंतर है. हालांकि इसको लेकर जांच की जा रही है. 


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इधर, प्रोजेक्ट का काम वक्त से पूरा हो और राजस्थान व मध्यप्रदेश के बीच किसी तरह की कोई लड़ाई ना हो, इसके लिए नेशनल वाटर डवलपमेंट एजेंसी को बतौर नोडल एजेंसी की जिम्मेदारी दी जा सकती है. 


हालांकि अभी  राजस्थान और मध्यप्रदेश की संयुक्त डीपीआर बनेगी. इसके बाद दोनों के बीच एमओए साइन होगा. डीपीआर को लेकर अभी विभाग के ऑफिसर कुछ भी नहीं कह रहे हैं. 


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 राज्य सरकार सोच रही है कि इस प्रोजेक्ट की शुरुआत प्रधानमंत्री नरेन्द्र से करवाई जाए, जिसके लिए कोशिश जारी है. केन्द्र सरकार की ओर से कुल लागत की 90 प्रतिशत राशि वहन करना प्रस्तावित है. हालांकि इसको लेकर आखिरी फैसला लेना बाकी है. 


इस प्रोजेक्ट में 21 जिले शामिल हैं, जो अजमेर, ब्यावर, केकड़ी, टोंक, दूदू, सवाई माधोपुर, गंगापुर सिटी, करौली, धौलपुर, भरतपुर, डीग, दौसा, कोटपूतली-बहरोड़, अलवर, खैरथल-तिजारा, जयपुर, जयपुर ग्रामीण, झालावाड़, बारां, कोटा और बूंदी. इन सभी जिलों में पेयजल व सिंचाई के लिए पानी आएगा. साथ ही इस प्रोजेक्ट के तहत 158 बांध-तालाब और अन्य जल स्रोत को भरा जाएगा, जिसके लिए 600 मिलीयन क्यूबिक मीटर पानी रिजर्व रखा जाएगा. 


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