मार्बल व्यवसाई पर हुई फायरिंग, हिस्ट्रीशीटर आरोपी बोला-छूटने के बाद जान से मार दूंगा
रेकी के दौरान उसे पता चला कि चिराग हर गुरुवार घसियार स्थित श्री नाथ जी मंदिर के दर्शन करने जाता है. इसके बाद उसने अपने साथी के साथ मिल कर चिराग की हत्या की योजना बनाई. योजना के तहत दीपक ने 3 फरवरी को चिराग का पीछा किया.
Udaipur: राजस्थान के उदयपुर के सुखेर थाना पुलिस ने रविवार को बड़ी कार्रवाई को अंजाम दिया. पुलिस ने अपनी कार्रवाई में मार्बल व्यवसाई चिराग उपाध्याय पर हुई फायरिंग के मामले में दोनो आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है. पुलिस ने फायरिंग के मुख्य आरोपी और हिस्ट्रीशीटर दीपक मेनारिया और उसके साथी तरुण को गिरफ्तार किया है.
मामले का खुलासा करते हुए डीवाईएसपी पश्चिम जितेंद्र आंचलिया ने बताया कि पुलिस की गिरफ्त में आया फायरिंग का मुख्य आरोपी और हिस्ट्रीशीटर दीपक मेनारिया लगातार बोल रहा है कि वह जेल से छूटने के बाद चिराग उपाध्याय को जान से मार देगा. उन्होंने बताया कि दीपक मेनारिया ने कुछ महीने पहले चिराग के दोस्त और होटल व्यवसाई दीपक राठौड़ को धमकाकर उससे रंगदारी वसूल करनी चाही थी. एक दिन जब दीपक और चिराग दोनों बिकरनी स्थित दीपक राठौड़ के फार्म हाउस से उदयपुर लौट रहे थे, तो इस दौरान दीपक मेनारिया ने अपने साथियों के साथ उनकी गाड़ी को रोक दिया और वह राठौड़ के साथ मारपीट करने लगे. इस दौरान बीच-बचाव में आए चिराग उपाध्याय ने दीपक को साथ हाथापाई कर दी, जिससे उसे वहां से भागना पड़ा. दीपक इसी का बदला लेने की फिराक में लगातार चिराग की रेकी कर रहा था.
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रेकी के दौरान उसे पता चला कि चिराग हर गुरुवार घसियार स्थित श्री नाथ जी मंदिर के दर्शन करने जाता है. इसके बाद उसने अपने साथी के साथ मिल कर चिराग की हत्या की योजना बनाई. योजना के तहत दीपक ने 3 फरवरी को चिराग का पीछा किया. वहीं, जब वह दर्शन कर लौट रहा था तो उसने चिराग की कार को ओवरटेक कर कार के आगे मोटरसाइकिल खड़ी कर रोक दिया.
इसके बाद दीपक और उसके साथी ने चिराग पर एक एक राउंड फायर किया और वहां से भाग गए. हालांकि इस हमले में वह बच गया और दीपक ने थाने में पहुंचकर अपनी आपबीती बताई. मामले की गंभीरता को देखते हुए पुलिस की विशेष टीम गठित की गई.
डीवाईएसपी अंचलिया ने बताया कि फायर की वारदात को अंजाम देने के बाद दीपक और उसका साथी तरुण उदयपुर से बाहर चले गए. उन्हें पता चला कि उनकी गोली चिराग को नहीं लगी और वह बच गया. ऐसे में वह फिर से उसके ऊपर हमला करने के लिए उदयपुर पहुंचे. इस दौरान पुलिस को जब मुखबिर से इस बात की सूचना मिली तो पुलिस ने दोनों ही आरोपियों को दबोच लिया. पुलिस पूछताछ में दीपक ने बताया कि वह मध्यप्रदेश के नीमच से दोनों पिस्टल खरीद कर लाया था. वहीं, पुलिस आरोपियों से हथियार बरामद करने को लेकर पूछताछ कर रही है.
आरोपी दीपक के खिलाफ उदयपुर और चित्तौड़ सहित अन्य जिलों में हत्या का प्रयास, अपहरण, मारपीट, हथियार अपने कब्जे में रखने, संबंधित 19 मामले दर्ज हैं तो वहीं, तरुण के खिलाफ उदयपुर और चित्तौड़ में मारपीट और हत्या के प्रयास के दो मामले दर्ज है.
बता दें कि आरोपी दीपक मेनारिया ने करीब 15 दिन पहले भूखंड के विवाद को लेकर चीरवा इलाके में शिव शंकर मेनारिया नाम के व्यक्ति की कार पर पेट्रोल छिड़ककर आग लगा दी थी. इस मामले में भी वह फरार चल रहा था. आरोपियों को पकड़ने के लिए DYSP जितेंद्र आंचलिया के नेतृत्व में उप निरीक्षक रोशन सिंह, एसआई भगवान लाल, हेड कांस्टेबल अखिलेश्वर कुमार, कांस्टेबल नंदकिशोर गुर्जर, जयदेव, सुनील कुमार, साइबर सेल के गजराज सिंह और लोकेश रायकवार ने अहम भूमिका निभाई है.
Reporter- Avinash Jagnawat