काठमांडू: दुनिया की सबसे ऊंची पर्वत चोटी माउंट एवरेस्ट पर ‘ट्रैफिक जाम’ जैसी स्थिति देखने को मिल रही है. बुधवार को 200 से अधिक पर्वतारोहियों ने शिखर पर पहुंचने की कोशिश की. मीडिया में आई एक खबर में बुधवार को यह दावा किया गया. सरकार ने इस साल गर्मियों के मौसम में 381 पर्वतारोहण परमिट पर्वतारोहियों को जारी किया, जिनका प्रतिनिधित्व 44 टीमें कर रही हैं. शुक्रवार को माउंट एवरेस्ट पर दो और भारतीय पर्वतारोहियों की मौत हुई है जिसके साथ ही दुनिया की इस सबसे बड़ी चोटी पर इस सीजन में पर्वतारोहण के दौरान जान गंवाने वाले भारतीयों की संख्या आठ हो गयी है.


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पर्वतारोहण के आयोजकों के अनुसार निहाल भगवान (27) और कल्पना दास (49) की 8848 मीटर ऊंचे माउंट एवरेस्ट से उतरते समय एक अन्य आस्ट्रेलियाई पर्वतारोही के साथ मौत हो गयी. पीक प्रोमोशन प्राइवेट लिमिटेड के प्रबंध निदेशक बाबू शेरपा ने बताया कि नेपाल वाले हिस्से में पहले तो शेरपा पर्वतरोहियों ने उन्हें बचा लिया लेकिन उन्होंने माउंट एवरेस्ट के चतुर्थ शिविर में दम तोड़ दिया.



वह महाराष्ट्र के रहने वाले थे. हिमालय टाईम्स के अनुसार शेरपा ने कहा, ‘‘माउंट एवरेस्ट से लौटते समय बालकोनी क्षेत्र के समीप 27 वर्षीय भगवान बीमार पड़ गये और चतुर्थ शिविर में उन्होंने दम तोड़ दिया.’’ उन्होंने बताया कि भगवान दो सदस्यीय पर्वतरोहण दल के नेता थे.


एवरेस्ट आधारशिविर पर संपर्क अधिकारी ज्ञानेंद्र श्रेष्ठ ने बताया कि तीन सदस्यीय महिला पर्वतरोहण दल की सदस्य दास बुधवार को एवरेस्ट से लौटते समय बालकोनी क्षेत्र के पास चल बसीं. हिमालय विजन प्राइवेट लिमिटेड के सुभाष श्रेष्ठ के अनुसार आस्ट्रेलियाई पर्वतारोही इंग लांडग्राफ (65) की बुधवार को मौत हो गयी . वह कोबलर एंड पार्टनर के पर्वतारोहण दल का हिस्सा थे. अधिकारियों ने कहा, ‘‘ विभिन्न पर्वतों पर जान गंवाने वाले 16 लोगों में कम से कम आठ भारतीय हैं.’’