मेरठ: पश्चिमी उत्तर प्रदेश के मेरठ में नकली दवाओं को लेकर जारी छापेमारी में ड्रग विभाग की टीम को बड़ी कामयाबी हाथ लगी है. विभाग ने बेहद फिल्मी अंदाज में 3 लोगों से करीब 25 लाख की नकली दवा बरामद की है. इस दौरान एक आरोपी ने विभाग की टीम पर हमला भी किया, जिसमें दो सदस्य घायल हुए हैं और सरकारी गाड़ी क्षतिग्रस्त हुई है.


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पिछले डेढ़ महीने से नकली दवाओं के गिरोह का पर्दाफाश करने में जुटे ड्रग इंस्पेक्टर पवन शाक्य ने बताया कि मेरठ में लगातार नकली दवाई सप्लाई होने की सूचनाएं मिल रही थी. आज सूचना मिली कि लिसाड़ी गेट इलाके में तिरंगा गेट के सामने अफसर नाम का एक शख्स नकली दवा लेकर जा रहा है, जिसके बाद टीम ने मौके पर पहुंच उसे रंगे हाथों गिरफ्तार कर लिया. आरोपी से 8 लाख की तीन तरह की नकली दवाइयां बरामद हुई हैं.


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ड्रग इंस्पेक्टर ने बताया कि जब आरोपी अफसर से पूछताछ की गई तो उसने बताया कि लिसाड़ी गेट इलाके का मुस्तकीम भी नकली दवाइयां बेचने का काम करता है. जिसके बाद मुस्तकीम के घर छापा मारकर 5 लाख की नकली दवा जब्त की गई.


यहां मुस्तकीम ने बताया कि वो नकली दवाइयां उत्तराखंड के रुड़की से मंगवाता है. जिसके बाद ड्रग विभाग की टीम ने मुस्तकीम से एक बार फिर रुड़की से दवाईयों का ऑर्डर मंगवाया, लेकिन दवाई सप्लायर आदिल ने मेरठ के अंदर आने से इंकार कर दिया और कहा कि शहर के बाहर ही किसी जगह पर डिलीवरी देगा.


ड्रग विभाग ने मुस्तकीम से कहलवाकर आदिल को मोदीपुरम बुलवाया, जहां पर ड्रग विभाग द्वारा खुद को घिरता देख उसने हमला कर दिया, जिसमें ड्रग विभाग के 2 लोग घायल हुए और गाड़ी भी क्षतिग्रस्त हो गई. हालांकि टीम ने किसी तरह आदिल को पकड़ा लिया, आरोपी के कब्जे से लगभग 12 लाख की नकली दवाइयां बरामद हुई हैं. फिलहाल तीनों आरोपियों को लिसाड़ी गेट पुलिस को सौंप दिया गया है और संबंधित धाराओं में मुकदमा भी दर्ज कर और पूछताछ की जा रही है.


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