लखनऊ: उत्तर प्रदेश पुलिस ने दिल्ली के निजामुद्दीन स्थित मरकज में ठहरे विदेशी तब्लीगी जमात के संपर्क में आए राज्य के 157 लोगों को चिन्हित किया है. डीजीपी ऑफिस ने संबंधित जिलाधिकारियों को निजामुद्दीन मरकज में ठहरे यूपी के लोगों की लिस्ट देकर उनसे संपर्क करने और उनका कोरोना वायरस टेस्ट कराने के कहा गया है.


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यूपी के 19 जिलों बहराइच, गोंडा, बलरामपुर, गाजियाबाद, प्रयागराज, भदोही, लखनऊ, सहारनपुर, मुजफ्फरनगर, बाराबंकी, मेरठ, बिजनौर, आगरा, वाराणसी, हापुड़, मथुरा, शामली और सीतापुर के 157 लोग निजामुद्दीन मरकज में ठरहे थे. इस लिस्ट में मुजफ्फरनगर के सर्वाधिक 28 लोग शामिल हैं, जबकि राजधानी लखनऊ के 20 लोगों ने भी इस धार्मिक आयोजन में शिरकत किया था.


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आपको बता दें कि निजामुद्दीन का यह मरकज इस्लामी शिक्षा का दुनिया में सबसे बड़ा केंद्र है. यहां कई देशों के लोग आते रहते हैं. मरकज से कुछ ही दूर सूफी संत हजरत निजामुद्दीन औलिया की दरगाह है. तब्लीगी जमात के मरकज में 1 से 15 मार्च तक 5 हजार से ज्यादा लोग आए थे. इनमें इंडोनेशिया, मलेशिया और थाईलैंड के लोग भी शामिल थे.


बीते 22 मार्च को लॉकडाउन की घोषणा के बाद भी यहां 2 हजार लोग ठहरे हुए थे. इनमें से 300 से ज्यादा लोगों के कोरोना संक्रमित होने की आशंका है. इन्हें सर्दी, खांसी और जुकाम की शिकायत है. इस मरकज में लोगों को धर्म की शिक्षा देकर इसके प्रचार-प्रसार के लिए देश के अलग-अलग मस्जिदों में भेजा गया था. इससे भारत के अन्य राज्यों में भी कोरोना वायरस के संक्रमण का खतरा बढ़ गया है.


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निजामुद्दीन स्थित मरकज बिल्डिंग में मौजूद अब तक 24 लोग कोरोना वायरस से पॉजिटिव निकले हैं. दिल्ली के स्वास्थ्य मंत्री सतेंद्र जैन ने बताया कि मरकज में शामिल 300 लोगों को अब तक अस्पताल में शिफ्ट किया गया है. करीब 700 से 800 लोगों को आइसोलेट किया गया है. सतेंद्र जैन ने बताया कि मरकज बिल्डिंग में 1500 से 1700 लोग मौजूद हो सकते हैं. 1033 लोगों को बाहर निकाला गया है.


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