क्यों लगाई जाती हैं सड़क किनारे मील के पत्थर पर अलग-अलग रंग की पट्टियां? जानिए सबकुछ
Advertisement
trendingNow0/india/up-uttarakhand/uputtarakhand913570

क्यों लगाई जाती हैं सड़क किनारे मील के पत्थर पर अलग-अलग रंग की पट्टियां? जानिए सबकुछ

 कई बातें और चीजें ऐसी होती है जो हमारी रोज की जिंदगी में शामिल होती है और उन पर हमारी निगाहें भी पड़ती है पर हमको इनके बारे में नहीं पता होता.  सामान्य सी दिखने वाली चीजों के कई मायने होते हैं. कभी-कभी हम जानना चाहते हैं पर वो कहीं न कहीं छूट ही जाती हैं.

प्रतीकात्मक फोटो

Facts Check: कई बातें और चीजें ऐसी होती है जो हमारी रोज की जिंदगी में शामिल होती है और उन पर हमारी निगाहें भी पड़ती है पर हमको इनके बारे में नहीं पता होता.  सामान्य सी दिखने वाली चीजों के कई मायने होते हैं. कभी-कभी हम जानना चाहते हैं पर वो कहीं न कहीं छूट ही जाती हैं. आप जब ऑफिस जाते हो या कभी शहर के बाहर जाते हो तो देखा होगा की थोड़ी-थोड़ी दूर पर सड़क के किनारे मील के पत्थर लगे होते हैं. ये पत्थर अलग-अलग कलर के रंगो की पट्टियों के साथ होते हैं.

  1. मील के पत्थरों के अलग-अलग रंग ही सड़क की पहचान कराते हैं

इस तरह न करें तुलसी के पत्तों का सेवन, सेहत को हो सकता है खतरा, जानिए सही तरीका

सड़क के किनारे दिखने वाले मील के पत्थर पर अलग-अलग रंग की पट्टियों का मतलब क्या होता है? कभी आपने ये कभी सोचा है..अगर नहीं सोचा है तो इस खबर में हम आपको देंगे पूरी जानकारी की इन अलग रंगों की पट्टियों का क्या मतलब होता है.

पीली पट्टियां
तो सबसे पहले जानते हैं पत्थरों पर लगी पीली पट्टियों के बारे में. पीले रंग की पट्टियों का मतलब ये हैं कि आप राष्ट्रीय राजमार्ग पर सफर कर रहे हैं. एक शहर से दूसरे शहर या एक राज्य से दूसरे राज्य में जाने के लिए जब आप एनएच से जाते हैं तो आपको अक्सर मील के पत्थर पर पीली पट्टियां दिखाई देती होंगी. 

हरी पट्टियां
पीली पट्टियों के बाद बात करते हैं पत्थरों पर लगी हरी पट्टियों की. स्टेट हाईवे के किनारे लगे मील के पत्थर पर हरी पट्टियां होती हैं. ये सड़कें राज्य के अलग-अलग शहरों को एक दूसरे से जोड़ती हैं. 

नारंगी रंग की पट्टियां
सड़क किनारे आपने पत्थरों पर नारंगी पट्टियों को लगे देखा होगा. अगर आपको ऐसी पट्टियां दिखाई देखें तो समझ जाइए कि आप ग्रामीण सड़क पर हैं. प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना, जवाहर रोजगार योजना और अन्य स्कीम के जरिए गांवों में बनने वाली सड़कों के किनारे लगे मील के पत्थर में नारंगी रंग की पट्टियां होती हैं. भारत में ग्रामीण सड़कों का जाल करीब 3.93 लाख किलो मीटर का है.

नीली या काली पट्टियां
जब भी आपक सड़क किनारे लगे मील के पत्थर पर नीली, काली या सफेद पट्टियां दिखें तो समझ जाइए कि आप शहरी या जिला रोड पर हैं. भारत में इस तरह की सड़कों का नेटवर्क करीब 5 लाख 61 हजार 940 किलो मीटर का है.

तो इस रिपोर्ट से तो आप निश्चित रूप से समझ गए होगें मील के पत्थरों पर लगी अलग-अलग रंगों की पट्टियों के बारे में. आप जब भी इनको देखेंगे तो आपको याद आ जाएगा इन पट्टियों का महत्व और कारण.

12 मधुमक्खियों के जीवन भर की मेहनत है एक चम्मच शहद, जानिए नर क्यों नहीं करते काम

WATCH LIVE TV

Trending news