Prayagaraj: याची का कहना था कि उसको खिलाफ कोई ठोस सबूत नहीं है उसे झूठे मुकदमे में फंसाया गया है, जबकि सीबीआई (CBI) की चार्जशीट में कहा गया है कि आरोपी ने नाबालिगों का अश्लील वीडियो कई वाट्स एप ग्रुप्स (Whatsapp group) पर शेयर किया
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मो.गुफरान/प्रयागराज: इलाहाबाद हाईकोर्ट (Allhabad High court) ने नाबालिग का अश्लील वीडियो चाइल्ड पोर्न ग्रुप्स में डालने के आरोपी को जमानत पर रिहा करने से इंकार कर दिया है. कोर्ट ने आरोपी रामजी की जमानत याचिका को खारिज कर दिया है. इसके साथ ही गाजियाबाद की सीबीआई की विशेष अदालत (special cbi court) को छह माह में ट्रायल पूरा करने का निर्देश दिया है. याची का कहना था कि उसके खिलाफ कोई ठोस सबूत नहीं है.
हाईकोर्ट ने की जमानत अर्जी खारिज
यह आदेश न्यायमूर्ति डी के सिंह ने झांसी (Jhansi) के एरच थाना क्षेत्र के रामगंज गांव के रामजी की जमानत अर्जी को खारिज करते हुए दिया है. अर्जी पर CBI के वरिष्ठ अधिवक्ता ज्ञान प्रकाश व संजय यादव ने प्रतिवाद किया.
उसे झूठे मुकदमे में फंसाया गया-याची
याची का कहना था कि उसको खिलाफ कोई ठोस सबूत नहीं है उसे झूठे मुकदमे में फंसाया गया है, जबकि सीबीआई (CBI) की चार्जशीट में कहा गया है कि आरोपी ने नाबालिगों का अश्लील वीडियो कई वाट्स एप ग्रुप्स (Whatsapp group) पर शेयर किया गया है.
याची द्वारा 34.798 डालर की कमाई का भी चार्जशीट में जिक्र
नाबालिग (Minor) के अश्लील वीडियो को चाइल्ड पोर्न ग्रुप (child porn group) में अपलोड कर 34.798 डालर की कमाई का भी चार्जशीट में जिक्र है. कोर्ट ने अपराध की गंभीरता को देखते हुए याची को जमानत देने से इंकार कर दिया है.