लोगों के UPI अकाउंट से चुराए 35 लाख और खरीद लिए Bitcoins, अब साइबर सेल की गिरफ्त में
गाजीपुर का साइबर ठग जब महाराष्ट्र पहुंचा तो उसे ऑनलाइन ठगी करने वाले 2 और लोग मिल गए. इन लोगों के साथ मिलकर उसने अपनी गैंग की शुरुआत की और मासूम लोगों का मेहनत से कमाया पैसा चुरान में लग गए. अब मुख्य आरोपी पुलिस की गिरफ्त में है. पढ़ें खबर...
पीयूष गौर/गाजियाबाद: गाजियाबाद का साइबर सेल जिले के ठगों पर नकेल कसने की पूरी तैयारी में है. गाजियाबाद पुलिस लगातार इंटरनेट के ठगों के खिलाफ कार्रवाई कर रही है. इसी क्रम में इंदिरापुरम थाना इलाके में पुलिस ने बड़े साइबर क्राइम का खुलासा किया है. साथ ही, आरोपी को महाराष्ट्र के नया गांव इलाके से धर दबोचा है. बताया जा रहा है कि गिरफ्तार शातिर ठग दिल्ली और गाजियाबाद के कई लोगों के यूपीआई अकाउंट से 35 लाख रुपये से ज्यादा हड़प चुका था.
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गाजीपुर का शख्स, महाराष्ट्र से चला रहा था गिरोह
हवालात के पीछ पहुंचा इस ठग का नाम विवेक यादव है, जो मूल रूप से गाजीपुर का रहने वाला है. आरोपी विवेक के पास बीसीए की डिग्री है और मौजूदा समय में वह महाराष्ट्र के नया गांव इलाके से अपनी गैंग ऑपरेट करता है. पूछताछ में पता चला कि विवेक यादव महाराष्ट्र में एस्टर्ड एडमिन और रमेश नाम के लोगों के कॉन्टैक्ट में आया और उनके साथ मिलकर अपना गिरोह तैयार किया.
चोरी के पैसों से खरीदे बिटकॉइन
पुलिस द्वारा दी गई जानकारी के मुताबिक, आरोपियों ने मिलकर गाजियाबाद के रहने वाले एक शख्स के अकाउंट से 23 लाख 62 हजार और दिल्ली निवासी एक और व्यक्ति के अकाउंट से 12 लाख रुपये चुराकर अपने अकाउंट में ऑनलाइन ट्रांसफर कर लिए. इस चुराई हुई रकम से ठगों ने बिटकॉइन्स खरीद लिए और अलग-अलग अकाउंट में ट्रांसफर कर दिए.
निकाला जा रहा ठग का क्रिमिनल रिकॉर्ड
अभय कुमार मिश्रा क्षेत्राधिकारी इंदिरापुरम ने बताया कि अब पुलिस इस गैंग के अन्य सदस्यों की तलाश में जुटी है. पुलिस के पास गिरफ्तार ठग के आपराधिक इतिहास की भी ज्यादा जानकारी नहीं है. इसलिए उसका क्रिमिनल रिकॉर्ड चेक किया जा रहा है.
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