Piran Kaliyar Dargah: उत्तराखंड (Uttarakhand) में कई प्रसिद्ध मंदिर और धर्मस्थल हैं. इसीलिए उत्तराखंड को देवभूमि भी कहा जाता है. लेकिन क्या आपको पता है कि उत्तराखंड में एक ऐसी दरगाह (Dargah) भी है जिसको लेकर दावा किया जाता है कि वहां भूत-प्रेतों की फांसी दी जाती है. ये कहा जाता है कि यहां जिन्न आदि से भी छुटकारा दिलाया जाता है. हालांकि, इस दावे में कितनी सच्चाई है इसके बारे में कोई नहीं जानता है. बड़ी संख्या लोग इसे अंधविश्वास मानते हैं पर फिर भी श्रद्धालु इस दरगाह में बड़ी संख्या में आते हैं. आइए उत्तराखंड की इस दरगाह और इसके दावों के बारे में जानते हैं.


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क्या है इस अनोखी दरगाह का नाम?


बता दें कि भूत-प्रेतों को फांसी देने का दावा करने वाली इस दरगाह का नाम पिरान कलियर दरगाह है. यहा रुड़की से लगभग 20 किलोमीटर स्थित है. यह दरगाह गंगा नदी के नजदीक स्थित है. पिरान कलियर दरगाह को लोग कलियर शरीफ भी कहते हैं. पिरान कलियर दरगाह सूफी अलाउद्दीन अली अहमद साबिर की कब्र है.


इशारों पर नाचते हैं भूत-प्रेत


जान लें कि पिरान कलियर दरगाह पर मुस्लिम के साथ-साथ बड़ी संख्या में हिंदू धर्म के श्रद्धालु भी आते हैं और दरगाह में चादर चढ़ाते हैं. दावा किया जाता है कि पिरान कलियर दरगाह में आने वाले की सारी परेशानियां दूर हो जाती हैं. ये भी दावा पिरान कलियर दरगाह के बारे में किया जाता है कि यहां सूफी अलाउद्दीन अली अहमद साबिर के इशारों पर भूत-प्रेत और जिन्न नाचते हैं. उनको यहां फांसी की सजा दी जाती है.


भूतों को फांसी अंधविश्वास या सच!


सूफी अलाउद्दीन अली अहमद साबिर में आस्था रखने वाले लोग कहते हैं कि दरगाह पर आने वाले श्रद्धालु कभी खाली हाथ नहीं लौटते हैं. पर यहां जो भूत-प्रेतों को फांसी देने की बात कही जाती है वह अधिकतर लोगों को अंधविश्वास से ज्यादा कुछ नहीं लगती है.


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