Pakistan Politics: स्पीकर ने निभाया याराना, 30 साल पुरानी दोस्ती के चलते इमरान के खिलाफ वोटिंग कराने से इनकार
जियो न्यूज ने सूत्रों के हवाले से बताया कि स्पीकर असद कैसर ने नेशनल असेंबली में वोट डालने की अनुमति देने से इनकार कर दिया. स्पीकर ने कहा चूंकि उनका प्रधानमंत्री के साथ 30 साल का रिश्ता है, इसलिए वह मतदान नहीं होने दे सकते.
नई दिल्ली: पाकिस्तान में सियासी घमासान अब और खतरनाक मोड ले रहा है. इमरान खान सरकार के लिए हर गुजरता पल चिंता बढ़ा रहा है. ऐसे में संसद के स्पीकर ने यहां तक कह दिया कि वो अविश्वास प्रस्ताव पर वोटिंग नहीं कराएंगे और चाहे इसके लिए उन्हें जेल भी जाना पड़े.
30 साल पुरानी दोस्ती का दिया हवाला
नेशनल असेंबली में वोटिंग से ठीक पहले संसद के स्पीकर ने इमरान से दोस्ती निभाते हुए बड़ी बात कह दी. जियो न्यूज ने सूत्रों के हवाले से बताया कि स्पीकर असद कैसर ने नेशनल असेंबली में वोट डालने की अनुमति देने से इनकार कर दिया. स्पीकर ने कहा चूंकि उनका प्रधानमंत्री के साथ 30 साल का रिश्ता है, इसलिए वह मतदान नहीं होने दे सकते. उन्होंने स्पष्ट कहा कि वे इमरान से गद्दारी नहीं कर सकते.
इमरान ने दायर की रिव्यू पिटीशन
आपको बता दें कि इमरान खान की पार्टी पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (PTI) को बहुमत के लिए 172 सांसदों की जरूरत है लेकिन फिलहाल उसे 142 सांसदों का ही समर्थन मिला है. हाल ही में पाक सुप्रीम कोर्ट ने डिप्टी स्पीकर के फैसले को गलत बताते हुए इमरान खान को झटका दिया था. अब कुछ मीडिया रिपोर्ट्स में दावा किया जा रहा है कि इस फैसले पर पुनर्विचार याचिका दायर की गई है.
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अकेले पड़े इमरान
गौरतलब है कि इमरान खान के दो करीबी मंत्रियों ने ट्विटर पर अपना प्रोफाइल बदल लिया है. इनमें पहला नाम पाकिस्तान के विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी (Shah Mahmood Qureshi) और दूसरा नाम सूचना मंत्री फवाद चौधरी (Fawad Chaudhry) का है. दोनों मंत्रियों ने ट्विटर पर अपना प्रोफाइल बदलकर पूर्व मंत्री कर लिया है. हालांकि इमरान खान ने अपने नाम के आगे अब भी पीएम लगा रखा है.
शनिवार को रात 9:30 बजे होगी कैबिनेट की बैठक
एक सरकारी अधिकारी ने Reuters को बताया, हमें अभी मिलने का निर्देश दिया गया है. खबर है कि इमरान खान रात 9:30 बजे कैबिनेट के मंत्रियों के साथ बैठक करेंगे. खान की पार्टी के सदस्यों ने शुक्रवार को सुझाव दिया था कि वे जितना संभव हो सके वोट में देरी करने की कोशिश करेंगे. उनके सहयोगियों ने पिछले रविवार को इसी तरह मतदान को रोक दिया था लेकिन देश के सर्वोच्च न्यायालय ने इस कदम को असंवैधानिक करार दिया.
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