Ganesh Chaturthi Poojan: हिंदू धर्म में भगवान गणेश को विघ्नहर्ता व प्रथम पूजनीय का दर्जा मिला है. किसी भी शुभ कार्य से पहले भगवान गणेश की वंदना की जाती है. आपको बता दें कि गणेश चतुर्थी भगवान गणेश को समर्पन के लिहाज से सबसे बड़ा पर्व माना गया है. गणपति के भक्त पूरे साल इस त्योहार का इंतजार करते हैं. आइए जानते हैं गणेश चतुर्थी पूजन में किन विषयों पर ध्यान देना जरूरी है.  


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मूर्ति खरीदते समय रखें ध्यान


मूर्ति खरीदते समय यह बात का विशेष ध्यान दें कि गणेश जी की मुद्रा और सूंड की दिशा कैसी है. आपको बता दें कि बप्पा की बैठी हुई मुद्रा और बाईं ओर झुकी हुई सूंड वाले गणेश जी को अधिक शुभ माना जाता है. गणपति की ऐसी मूर्ति का पूजन करने से घर में सुख-समृद्धि और शांति बनी रहती है. खास बात का ध्यान यह रखें कि गणपति की मूर्ति जब भी खरीदें बप्पा की मूर्ति में मूषक जरूर हो और साथ ही उनके हाथ में मोदक भी अवश्य हो. ऐसी विशेष प्रकार की मूर्ति लाना बेहद शुभ माना जाता है. मोदक गणेश भगवान को बेहद प्रिय है वहीं मूषक गणेश जी का वाहन है.


किस-रंग की गणेश मूर्ति मानी जाती है शुभ?


अगर रंग की बात करें तो भगवान गणेश की सिंदूर रंग की मूर्ति घर में लाना उत्तम माना जाता है. गणपति के इस विशेष रंग की प्रतिमा घर में लाने से आत्मविश्वास में वृद्धि होती है. वहीं सफेद रंग की गणेश की मूर्ति लाने से घर में खुशहाली बनी रहती है.


किस-दिशा में करें मूर्ति स्थापना?


बप्पा की मूर्ति को उत्तर दिशा में स्थापित करना शुभ माना जाता है. आपको बता दें कि यह दिशा मां लक्ष्मी और भगवान शिव की दिशा मानी जाती है. ऐसे में भगवान गणेश जी का मुख इस विशेष दिशा में रखने से गणेश भगवान के साथ-साथ महादेव और मां लक्ष्मी का भी आशीर्वाद मिलता है. ध्यान दें कि गणपति की मूर्ति का मुख घर के मुख्य द्वार की तरफ होना चाहिए. कहा यह भी जाता है कि इससे घर में सुख-शांति और समृद्धि हमेशा बनी रहती है.


(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. ZEE NEWS इसकी पुष्टि नहीं करता है.)