अगले 26 दिनों के लिए इन कामों से कर लें तौबा, वरना भुगतने पड़ेंगे बहुत बुरे नतीजे!
Malmas 2023 Date: पुरुषोत्तम मास या मलमास को हिंदू धर्म में बहुत महत्व दिया गया है. मलमास में कुछ काम करने की मनाही होती है, वहीं पूजा-पाठ, प्रार्थना के लिए यह समय शानदार होता है.
Malmas 2023 Kab se hai: पुरुषोत्तम मास बहुत महत्वपूर्ण महीना होता है. मलमास या अधिकमास को पुरुषोत्तम मास इसलिए कहते हैं क्योंकि यह महीना भगवान विष्णु को समर्पित है. इस महीने के ईष्ट देव भगवान विष्णु हैं और पुरुषोत्तम उनका ही एक नाम है. पुरुषोत्तम मास में भगवान विष्णु की पूजा-आराधना करने से जीवन में अपार सुख-समृद्धि मिलती है. सारे कष्ट दूर होते हैं. पुरुषोत्तम मास हर 3 साल में पड़ता है. साल 2023 में मलमास सावन महीने के साथ पड़ रहा है. इस कारण सावन 59 दिन का है. मलमास 18 जुलाई 2023 से मलमास शुरू हो चुका है और 16 अगस्त 2023 तक चलेगा.
मलमास में रखें इन बातों का ध्यान
मलमास में शुभ-मांगलिक कार्य नहीं किए जाते हैं, इस महीने में केवल धर्म-कर्म के काम ही किए जाते हैं. भगवान विष्णु की आराधना करना चाहिए. साथ ही मलमास में कुछ बातों का ध्यान रखना चाहिए कि क्या करें और क्या ना करें. वरना ये गलतियां बहुत नुकसान पहुंचाती हैं.
- मलमास में शहद, चौलाई, राई, प्याज, लहसुन, उड़द, गोभी, गाजर, मूली, उड़द दाल का सेवन नहीं करना चाहिए. ऐसा करने से संचित अच्छे कर्म नष्ट होते हैं और सेहत पर भी बुरा असर पड़ता है.
- मलमास में अपना ध्यान पूजा-पाठ, जप-तप में ही लगाना चाहिए. साथ ही बुरे विचारों से भी दूर रहना चाहिए. इस मास में गलती से भी किसी के बारे में बुरा ना सोचें.
- मलमास में शुभ-मांगलिक कार्य न करें. जैसे- मलमास में मुंडन, विवाह, गृहप्रवेश, नया घर खरीदना, नामकरण ना करें.
- मलमास में तुलसी की पूजा जरूर करें, बिना तुलसी पूजा के भगवान विष्णु की पूजा पूरी नहीं होती है. इसलिए मलमास में तुलसी के पौधे की पूजा जरूर करें और इसमें कोई गलती भी ना करें.
- मलमास में तामसिक भोजन ना करें. यहां तक कि मलमास में लहसुन, प्याज, मांस, मछली, शराब जैसी चीजों का सेवन न करें और घर में भी ना लाएं.
- मलमास में देर तक नहीं सोना चाहिए, बल्कि सुबह जल्दी उठकर स्नान करके पूजा-पाठ करें.
- मलमास में गरीब-जरूरतमंदों को अन्न, केला, पीले वस्त्र, किताब, नारियल का दान करें. मलमास में दीपदान करना भी बहुत लाभ देता है.
- मलमास में कोई भी नया व्रत आरंभ ना करें. ना ही किसी व्रत का उद्यापन करें.
(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. ZEE NEWS इसकी पुष्टि नहीं करता है.)