Supermassive Black Hole Spin: वैज्ञानिकों ने पहली बार किसी ब्लैक होल की स्पिन स्पीड कैलकुलेट की है. स्पिन स्पीड यानी ब्लैक होल अपनी धुरी पर किस तेजी से घूमता है. मैसाचुसेट्स इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी (MIT) के खगोलविदों ने पृथ्वी से एक अरब प्रकाश वर्ष दूर एक महाविशाल ब्लैक होल पर नजर गड़ाई थी. जब ब्लैक होल जागा और भोजन किया, तब प्रकाश की चमक में बदलाव दिखा. यह बदलाव पदार्थ की एक डिस्क के कारण हुआ जो घूमती और डगमगाती थी. MIT के धीरज पाशम के मुताबिक, इसी डगमगाहट ने उनकी टीम को ब्लैक होल के केंद्र में उसकी स्पिन स्पीड बताई. ब्लैक होल के अपनी धुरी पर घूमने की रफ्तार कितनी थी? जवाब है- प्रकाश की गति के एक-चौथाई से भी कम. ब्लैक होल जिससे प्रकाश तक नहीं बचता, उसके लिए यह रफ्तार बड़ी कम है! पाशम ने कहा कि वैज्ञानिकों की यह खोज भविष्य में काम आएगी.


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MIT वैज्ञानिक ने बताया , 'आने वाले सालों में इस तरीके से कई ब्लैक होल सिस्टम्स की स्टडी करते हुए, एस्ट्रोनॉमर्स एक अनुमान लगा सकते हैं कि ब्लैक होल्स की स्पिन स्पीड्स में कितना अंतर है. इससे उन्हें यह भी समझने में मदद मिल सकती है कि ब्लैक होल कैसे विकसित हुए हैं.'


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महाविशाल ब्लैक होल: ब्रह्मांड का सबसे बड़ा रहस्य


महाविशाल ब्लैक होल आकाशगंगाओं के केंद्र में पाए जाते हैं. इनका द्रव्यमान सूर्य से अरबों-खरबों गुना हो सकता है. गुरुत्वाकर्षण की असीम ताकत खुद में समेटे ये महाविशाल ब्लैक होल ही आकाशगंगाओं को बांधकर रखते हैं. वैज्ञानिक मानते हैं कि आकाशगंगा की संरचना और उसके विकास में केंद्रीय ब्लैक होल की अहम भूमिका होती है.


ब्लैक होल खुद प्रकाश पैदा नहीं करते. उनका घनत्व इतना ज्यादा होता है कि ब्लैक होल के गुरुत्वीय ताकत से बचने के लिए जो रफ्तार चाहिए, वह निर्वात में प्रकाश की गति से कहीं ज्यादा है. ब्लैक होल के आसपास प्रकाश उसके चारों तरफ नाचने वाली एक्रेशन डिस्क से आता है. पदार्थ और गैस की यह डिस्क ही ब्लैक होल का आहार बनती है.