नई दिल्ली: एक बार टीम इंडिया के धाकड़ ओपनर बल्लेबाज वीरेंद्र सहवाग ( Virender Sehwag)  कुछ समय से बुरे फॉर्म से जूझ रहे थे. इस दौरान जब वे एक बार फिर सेएक खराब शॉट खेलकर  सस्ते में  आउट हुए तो उनसे कॉमेंटेटर ने पूछा कि इस फॉर्म में भी वे इस तरह के शॉट्स क्यों खेलते, वीरू ने इस पर कहा, "अगर मुझे गेंद मिली मैं तो मारूंगा." यह किसी को याद नहीं कि उसके बाद क्या हुआ और शायद यह भी किसी को याद नहीं कि उससे पहले क्या हुआ. लेकिन वीरू का यह अंदाज नहीं बदला, बेशक उन्होंने उसके बाद कई शानदार और उनमें से कुछ अविश्वनीय पारियां भी खेलीं. इस बेमिसाल अंदाज वाले वीरू रविवार को 41 साल के हो रहे हैं.


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अपने अंदाज में कोई समझौता नहीं
वीरू के नाम बेशक कई बेमिसाल रिकॉर्ड हों लेकिन वे उन रिकॉर्ड्स के लिए नहीं जाने जाते. शायद ही कभी ऐसा दिखा हो कि वीरू शतक के करीब पहुंचे हों और उनके बल्ले की रफ्तार कम हो गई हो, बल्कि कई बार तो यही हुआ कि ऐसे में वीरू ने तेजी से बल्लेबाजी की. वे हमेशा तेजी से रन बनाने की कोशिश करते थे. शायद यही वजह थी कि वे टेस्ट में दो बार तिहरा शतक लगा सके. और यही नहीं, टीम इंडिया के लिए पहला दोहरा शतक लगाने से पहले उन्होंने यह दावा भी किया था ऐसा सबसे पहले वे ही करेंगे. 


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दो तिहरे शतकों को याद किया जाता है सहवाग को
यूं तो वीरेंद्र सहवाग ने अपने क्रिकेट करियर में कई रिकॉर्ड बनाए हैं, लेकिन उन्हें दो तिहरे शतकों के लिए आज भी याद किया जाता है वे अकेले ऐसे भारतीय क्रिकेटर हैं, जिनके नाम यह रिकॉर्ड दर्ज है. दुनिया में केवल 4 ही ऐसे क्रिकेटर हैं, जिन्होंने अपने क्रिकेट करियर में दो-दो तिहरे शतक जड़े हैं. यह उपलब्धि सर डॉन ब्रैडमैन, वीरेंद्र सहवाग ब्रायन लारा और क्रिस गेल ने हासिल की है. लेकिन सहवाग ने ये मुकाम वनडे अंदाज में बल्लेबाजी कर हासिल किए और वे तीसरे तिहरे शतक से भी चूके. 



वीवीएस लक्ष्मण से कहा था
एक बार सहवाग ने अपना पहला तिहरा शतक लगाने से पहले वीवीएस लक्ष्मण से कहा था कि भारत के लिए तिहरा शतक तो वे ही लगाएंगे, उस समय सहवाग टेस्ट टीम में पक्के भी नहीं हुए थे. वे करियर में केवल 4 वनडे खेल सके थे. सहवाग ने यह बात साल 2000 में लक्ष्मण से उनकी 281 वाली ऐतिहासिक पारी को याद करते हुए कही थी. वीवीएस को लगा कि वीरू मजाक कर रहे हैं, लेकिन बाद में 2003-04 में पाकिस्तान के मुल्तान में सहवाग ने इतिहास रच दिया. 



बड़े रिकॉर्ड और उनसे बड़ा अंदाज
सहवाग डॉन ब्रैडमैन और ब्रायन लारा की तरह टेस्ट में दो बार तिहरा शतक लगा चुके हैं और वे तीसरा तिहरा शतक केवल सात रन से चूक गए थे. आखिरी 30 टेस्ट में शतक न बना पाने वाले सहवाग के नाम आज भी भारत के सबसे ज्यादा दोहरे टेस्ट शतक हैं. उनके बल्लेबाजी के अंदाज को आज के दौर में एक बेंचमार्क माना जाता है. यह हाल ही में हुई भारत और दक्षिण अफ्रीका के बीच हुई टेस्ट सीरीज में रोहित शर्मा के प्रदर्शन से सहवाग की तुलना से जाहिर है.