रोहित भी नहीं बचा पाए अपने जिगरी यार का करियर! सेलेक्टर्स ने दिखाया बाहर का रास्ता
टीम इंडिया में एक खिलाड़ी कप्तान रोहित शर्मा (Rohit Sharma) का जिगरी यार था, लेकिन हिटमैन अपने इस दोस्त का करियर भी नहीं बचा पाए. रोहित शर्मा की ही वजह से टीम इंडिया (Team India) के एक धाकड़ खिलाड़ी का टेस्ट करियर पूरी तरह तबाह हो गया. ये खिलाड़ी कोई और नहीं बल्कि रोहित शर्मा का ही जिगरी दोस्त है.
नई दिल्ली: भारतीय क्रिकेट टीम में सेलेक्शन होना जितना मुश्किल माना जाता है, उससे कई गुना ज्यादा मुश्किल खुद को टीम इंडिया (Team India) में बरकरार रखना होता है, क्योंकि टीम के बाहर भी कई ऐसे खिलाड़ी होते हैं, जो अपने बेहतरीन प्रदर्शन के दम पर तगड़ा कॉम्पिटिशन देते हैं. टीम इंडिया (Team India) में एक खिलाड़ी कप्तान रोहित शर्मा (Rohit Sharma) का जिगरी यार था, लेकिन हिटमैन अपने इस दोस्त का करियर भी नहीं बचा पाए. रोहित शर्मा की ही वजह से टीम इंडिया के एक धाकड़ खिलाड़ी का टेस्ट करियर पूरी तरह तबाह हो गया. ये खिलाड़ी कोई और नहीं बल्कि रोहित शर्मा का ही जिगरी दोस्त है, जिसके लिए हिटमैन खुद ही विलेन साबित हो गए. रोहित शर्मा ने अपने ही जिगरी दोस्त का टेस्ट करियर खत्म कर दिया. अब टेस्ट टीम में इस खिलाड़ी की वापसी की कल्पना भी असंभव है. टेस्ट टीम में जगह को लेकर टीम इंडिया के मौजूदा कप्तान रोहित शर्मा समेत अब सभी ने इस खिलाड़ी से अपना मुंह मोड़ लिया है.
रोहित शर्मा बने अपने ही जिगरी दोस्त के लिए सबसे बड़े विलेन
इस खिलाड़ी को टेस्ट क्रिकेट में खेलने का एक भी मौका नहीं मिल रहा. सेलेक्टर्स जिस बल्लेबाज को नजरअंदाज कर रहे हैं, वह रोहित शर्मा जैसी तूफानी बैटिंग में माहिर है. एक समय ऐसा था जब 35 साल के शिखर धवन को टीम इंडिया का बड़ा मैच विनर माना जाता था, लेकिन अब रोहित शर्मा ही शिखर धवन के टेस्ट करियर के बीच सबसे बड़ी रुकावट बन गए हैं. सेलेक्टर्स शिखर धवन को लंबे समय से टेस्ट टीम में मौका ही नहीं दे रहे. रोहित शर्मा के टेस्ट कप्तान बनने के बाद उन्हें ओपनिंग पोजीशन से हटाना मुश्किल है. रोहित शर्मा के साथ अब टेस्ट टीम में बतौर ओपनर या तो केएल राहुल को मौका मिलता है या फिर मयंक अग्रवाल को मौका मिलता है. शिखर धवन के लिए अब टेस्ट टीम के दरवाजे बंद हो गए. सभी ने शिखर धवन से मुंह मोड़ लिया है.
नहीं मिल रहा कोई मौका
शिखर धवन की जगह अब टेस्ट टीम में केएल राहुल और मयंक अग्रवाल को ज्यादा मौके दिए जाते हैं. टेस्ट क्रिकेट की बात करें तो धवन ने आखिरी बार साल 2018 में भारत के लिए लाल गेंद की क्रिकेट खेली थी. शिखर धवन के आंकड़ों को देखा जाए तो वह क्रिकेट के सभी फॉर्मेट में अव्वल खिलाड़ी दिखाई देते हैं. टेस्ट क्रिकेट में भी शिखर ने 34 मैच में 41 की औसत से 2300 से अधिक रन बनाए हैं, जिसमें इन्होंने शानदार 7 शतक लगाए हैं, लेकिन ऐसा लगता है कि चयनकर्ताओं ने धवन का सही आंकलन नहीं किया है.
रोहित के साथ थी सुपरहिट जोड़ी
2013 चैंपियंस ट्रॉफी में पहली बार करिश्माई कप्तान महेंद्र सिंह धोनी ने रोहित शर्मा और शिखर धवन को ओपनिंग करने के लिए उतारा था. तभी से ये दोनों भारतीय बल्लेबाजी की नींव बन गए. इन्होंने मिलकर टॉप ऑर्डर में ढेरों रन कूटे थे. रोहित के साथ धवन ने दुनिया के हर मैदान में रन बनाए. बड़े से बड़े गेंदबाज इन की बल्लेबाजी देखकर दांतो तले उंगलियां दबा लेते हैं, लेकिन पिछले कुछ सालों में रोहित शर्मा की केएल राहुल के साथ जोड़ी बन गई है. ऐसे में सेलेक्टर्स शिखर धवन को हाशिए पर धकेलने लगे. अब शिखर धवन की टीम में वापसी नामुमकिन नजर आ रही है.
शानदार रहा करियर
शिखर धवन किसी समय भारतीय टीम की बल्लेबाजी क्रम के मजबूत स्तंभ थे, लेकिन समय के साथ कहानी बदल गई. उन्होंने भारत के लिए तीनों ही फॉर्मेट में क्रिकेट खेला है. धवन ने टीम इंडिया के लिए 34 टेस्ट मैचों में 2315 रन, 149 वनडे मैचों में 6284 रन बनाए और 68 टी20 मैचों में 1759 रन बनाए हैं. वह पिछले चार साल से टेस्ट टीम से बाहर चल रहे हैं. उनकी फॉर्म आती जाती रही है. एक मैच में उनका बल्ला चल जाता है, तो अगले दो मैचों में खामोश रहता है. टीम इंडिया में उनकी जगह कई युवा प्लेयर्स ने ली है. ऐसे में उनके करियर पर तलवार लटकती हुई दिखाई दे रही है.
टेस्ट क्रिकेट के दरवाजे लगभग बंद
रोहित शर्मा और केएल राहुल के टेस्ट ओपनर के तौर पर जगह पक्की करने के बाद शिखर धवन की टेस्ट टीम में वापसी मुमकिन नजर नहीं आती. धवन टेस्ट क्रिकेट में 2018 से नहीं खेले हैं और उसके बाद किसी भी टेस्ट सीरीज में इन्हें खेलने का मौका नहीं दिया गया. यह सब देखकर समझ आता है कि टेस्ट क्रिकेट में धवन के लिए अब दरवाजे बंद हो चुके हैं.