America CIA: चीन, ईरान और उत्तर कोरिया से अमेरिका के रिश्ते हमेशा उतार-चढ़ाव भरे रहे हैं. अमेरिका ने अब इन देशों की खुफिया योजनओं में सेंध लगाने की तैयारी कर ली है. इसके लिए अमेरिका की केंद्रीय खुफिया एजेंसी (सीआईए) ने बड़े लेवल पर तैयारी शुरू कर दी है. इस क्रम में सीआईए ने इन देशों में मुखबिरों के लिए भर्ती निकाली है. इस भर्ती प्रक्रिया में चीन, ईरान और उत्तर कोरिया के उम्मीदवार सीआईए के ऑपरेटरों के जरिये हिस्सा ले सकते हैं.


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अमेरिका ने चीन-ईरान-उत्तर कोरिया में भर्ती अभियान शुरू किया


रूस में सफलता मिलने के बाद अमेरिका ने अब चीन, ईरान और उत्तर कोरिया में भर्ती अभियान शुरू किया है. एजेंसी ने बुधवार (2 अक्टूबर) को मंदारिन, कोरियाई और फारसी में पोस्ट किए. इन पोस्ट में लोगों से कहा गया कि वे "सुरक्षित" तरीके से सीआईए के ऑपरेटरों से संपर्क करें. सीआईए उन 'असंतुष्ट' लोगों तक पहुंच बनाने की कोशिश कर रही है, जो इन देशों की शासन प्रणाली से असंतोष महसूस कर रहे हैं. सीआईए ने इस भर्ती के लिए टेलीग्राम, फेसबुक, एक्स, इंस्टाग्राम, लिंक्डइन और यूट्यूब पर पोस्ट शेयर किया है.



सीआईए ने इन देशों में निकाली भर्ती


एक सीआईए प्रवक्ता ने कहा, "हम सुनिश्चित करना चाहते हैं कि अन्य निरंकुश शासन वाले देशों के लोग जानें कि हम व्यापार के लिए तैयार हैं." रूस में यूक्रेन पर आक्रमण के बाद सीआईए ने पहले इसी तरह के संदेश रूस की मीडिया प्लेटफार्मों पर शेयर किए थे. सीआईए द्वारा चीन, रूस, उत्तर कोरिया और ईरान को 'कठिन लक्ष्यों' के रूप में देखा जाता है. जहां स्थानीय शासन के कारण एजेंसी के लिए काम करना मुश्किल होता है. जिसके चलते सीआईए की ये भर्ती सामने आई है.


..आपकी सुरक्षा और भलाई हमारी प्राथमिकता


सीआईए के पोस्ट में तरीका भी बताया गया है कि लोग बिना अपनी जान को खतरे में डाले एजेंसी के ऑपरेटरों से कैसे संपर्क कर सकते हैं. एजेंसी ने लोगों से कहा कि वे डार्कनेट या डार्क वेब का इस्तेमाल करें और कुछ देशों में, डार्कनेट तक पहुंचने के लिए वर्चुअल प्राइवेट नेटवर्क (वीपीएन) का इस्तेमाल करें. सीआईए ने अपने मैसेज में कहा है कि आपकी सुरक्षा और भलाई हमारी प्राथमिकता है.


क्या कहा सीआईए के उप निदेशक ने


सीआईए के उप निदेशक डेविड कोहेन ने कहा कि चीन में कई लोग ऐसे हैं जो जानकारी तक पहुंच रखते हैं और जिनका शी जिनपिंग के शासन से असंतोष है. उन्होंने कहा कि लोग अंदर से देख रहे हैं और अलग-अलग कारणों से उस दिशा को पसंद नहीं करते हैं, जिसमें शी जिनपिंग देश को ले जा रहे हैं.


(एजेंसी इनपुट के साथ)