Global Health Crisis: एक और बीमारी का खतरा दुनिया पर मंडरा रहा है. एवियन इन्फ्लूएंजा बर्ड फ्लू अब केवल पक्षियों तक सीमित नहीं रहा है. यह वायरस अब जानवरों और इंसानों को भी संक्रमित करने लगा है. अमेरिका में हाल ही में इस वायरस के कारण 20 बिल्लियों की मौत हुई और 65 इंसानों में इसके संक्रमण के मामले सामने आए. विशेषज्ञों का कहना है कि बर्ड फ्लू के नए म्यूटेशन से यह खतरा और बढ़ सकता है, जिससे इसकी गंभीरता और संक्रमण क्षमता में वृद्धि हो सकती है.


COMMERCIAL BREAK
SCROLL TO CONTINUE READING

म्यूटेशन से बढ़ा खतरा
दरअसल, अमेरिकी रोग नियंत्रण केंद्र सीडीसी की रिपोर्ट के मुताबिक, बर्ड फ्लू वायरस में म्यूटेशन पाया गया है. लुइसियाना के एक मामले में वायरस का हीमोग्लूटिनिन जीन, जो मानव कोशिकाओं से जुड़ने में मदद करता है, प्रभावित पाया गया. यह म्यूटेशन वायरस को इंसानों में ऊपरी श्वसन तंत्र की कोशिकाओं से आसानी से जुड़ने में सक्षम बनाता है. हालांकि, व्यक्ति-से-व्यक्ति संक्रमण का कोई ठोस प्रमाण अब तक नहीं मिला है, लेकिन यह म्यूटेशन संभावित खतरे का संकेत देता है.


जानवरों और इंसानों में संक्रमण की घटनाएं बढ़ीं
हाल के महीनों में अमेरिका और मंगोलिया में डेयरी मवेशियों और घोड़ों में बर्ड फ्लू के मामलों की पुष्टि हुई है. अमेरिका में कैलिफोर्निया में 36 मामलों समेत कुल 65 मामलों की पुष्टि हुई है. संक्रमित जानवरों के संपर्क में आने वाले कृषि और पोल्ट्री कार्यकर्ता ज्यादा जोखिम में हैं. पालतू जानवरों के भोजन में भी इस वायरस के पाए जाने से इसका जानवरों में प्रसार तेजी से बढ़ा है.


2025 में महामारी का खतरा
एएफपी की रिपोर्ट बताती है कि बर्ड फ्लू का एच5एन1 प्रकार 2025 में एक गंभीर स्वास्थ्य समस्या बन सकता है. विशेषज्ञ मानते हैं कि इस वायरस के नए म्यूटेशन से इसके संक्रमण का तरीका बदल सकता है, जिससे मानव-से-मानव प्रसार की संभावना बढ़ सकती है. वर्तमान में इसकी मृत्यु दर लगभग 30% है, जो इसे बेहद खतरनाक बनाता है.


सावधानी और बचाव के उपाय
बर्ड फ्लू के लक्षणों में बुखार, मांसपेशियों में दर्द और सांस लेने में तकलीफ जैसे संकेत शामिल हैं. स्वास्थ्य अधिकारियों का सुझाव है कि पोल्ट्री या डेयरी उत्पादों के संपर्क में आने वाले लोग अधिक सतर्क रहें. संक्रमित जानवरों से कच्चा दूध पीने से भी बचना चाहिए. साथ ही, इस वायरस पर नजर रखने और आवश्यक सुरक्षा उपाय अपनाने की सख्त जरूरत है.