Oppression of Bangladeshi Hindus: बांग्लादेश में एक फिर हिंदुओं के खिलाफ हिंसा की खबर है. इस बीच जी न्यूज से बात करते हुए बांग्लादेशी हिंदू नागरिक प्रोफेसर चंदन सरकार ने देश में हिंदुओं के मुश्किल हालात का खुलासा किया. उन्होंने कहा कि बांग्लादेश में हिंदू आसान टारगेट बन गए हैं.


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बताया जा रहा है कि राजधानी ढाका के मीरांजिला कॉलोनी में हमले में 60 हिंदू घायल हो गए हैं. ऐसी खबरें हैं कि हिंदुओं के घर में तोड़फोड़ भी की गई. इस हमले के पीछे एक राजनीतिक दल के कार्यकर्ताओं का हाथ बताया जा रहा है.


हिंदुओं की प्रॉपर्टी को बनाया जा रहा निशाना
चंदन सरकार ने बताया कि धार्मिक आधार पर पहले हिंदूओं की प्रॉपर्टी और महिलाओं को जीतने के नैरेटिव गढ़े गए. उनका कहना है कि इसके बाद से सिर्फ लोगों पर ही नहीं बल्कि उनकी संपत्ति, उनके व्यवसाय को भी निशाना बनाया जा रहा है.


सरकार ने बताया कि जब कभी हिंदू किसी हमलावर को पकड़कर पुलिस के पास ले जाते हैं तो उनका जवाब होता है कि आरोपी का मानसिक स्वास्थ्य सही नहीं है इसलिए उसने हमला किया. इसके बाद कोई इंसाफ नहीं होता है.


दूसरा सबसे बड़ा धार्मिक समुदाय
हिंदू धर्म बांग्लादेश में दूसरा सबसे बड़ा धार्मिक समुदाय है. बांग्लादेश की 2022 की जनगणना के अनुसार, बांग्लादेश में हिंदुओं की आबादी 13,130,109 है जकि कुल जनसंख्या का 7.95फीसदी है.


जनसंख्या के मामले में, बांग्लादेश भारत और नेपाल के पड़ोसी देशों के बाद दुनिया का तीसरा सबसे बड़ा हिंदू आबादी वाला देश है. बांग्लादेश के 64 जिलों में से 61 में हिंदू धर्म दूसरा सबसे बड़ा धर्म है, लेकिन बांग्लादेश में कोई भी हिंदू बहुल जिला नहीं है.


बांग्लादेश में हिंदुओं पर हमले
देश में हिंदूओं पर हमलों की अक्सर खबरें आती रहती हैं. 2021 में, पीएम मोदी की बांग्लादेश यात्रा के दौरान हिफाज़त-ए-इस्लाम और अन्य कट्टरपंथी समूहों द्वारा मोदी विरोधी प्रदर्शनों के रूप में हिंदुओं के कई मंदिरों और घरों पर हमला किया गया और उनमें तोड़फोड़ की गई. इसी तरह, 2020 अक्टूबर में दुर्गा पूजा पंडालों में कथित तौर पर कुरान के अपमान का वीडियो फैलने के बाद बंगाली हिंदुओं के खिलाफ भयंकर सांप्रदायिक हिंसा हुई थी जिसमें 120 से अधिक हिंदू मंदिरों में तोड़फोड़ की गई थी और लगभग 7 हिंदू मारे गए थे. द न्यूयॉर्क टाइम्स ने इसे 'वर्षों में सबसे खराब सांप्रदायिक हिंसा' के रूप में वर्णित किया था.