नई दिल्ली: समाजवादी पार्टी (सपा) अध्यक्ष अखिलेश यादव ने हाल में हुए उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव में करहल सीट से विधायक चुने जाने के बाद आजमगढ़ लोकसभा क्षेत्र के सांसद पद से इस्तीफा दे दिया है. उन्होंने का कारण स्पष्ट करते हुए बुधवार को कहा कि सामाजिक अन्याय के खिलाफ संघर्ष के लिए यह ‘त्याग’ जरूरी था.


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अखिलेश ने पेश की सफाई


अखिलेश ने एक ट्वीट में लिखा कि ‘विधानसभा में उत्तर प्रदेश के करोड़ों लोगों ने हमें नैतिक जीत दिलाकर जन-आंदोलन का जनादेश दिया है. इसका मान रखने के लिए मैं करहल का प्रतिनिधित्व करूंगा और आजमगढ़ की तरक्की के लिए भी हमेशा वचनबद्ध रहूंगा.’



उन्होंने इसी ट्वीट में आगे लिखा कि ‘महंगाई, बेरोजगारी और सामाजिक अन्याय के खिलाफ संघर्ष के लिए ये त्याग जरूरी है.’ ऐसी अटकलें हैं कि अखिलेश प्रदेश विधानसभा में विपक्ष के नेता की जिम्मेदारी संभाल सकते हैं.


आजम खान ने भी छोड़ी सदस्यता


गौरतलब है कि वर्ष 2019 के लोकसभा चुनाव में आजमगढ़ सीट से सांसद चुने गए सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने मंगलवार को लोकसभा की सदस्यता छोड़ दी. उनके साथ पार्टी के वरिष्ठ नेता आजम खान ने भी लोकसभा की सदस्यता से इस्तीफा दे दिया. अखिलेश ने मैनपुरी की करहल और आजम ने रामपुर विधानसभा सीट से जीत हासिल की थी.


विधानसभा चुनाव में सपा को जीत नहीं मिल पाई और सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने लगातार दूसरी बार बहुमत हासिल कर लिया. विधानसभा चुनाव में समाजवादी पार्टी को 111 सीटें मिलीं, जबकि उसके सहयोगी राष्ट्रीय लोक दल (रालोद) को आठ तथा सुहेलदेव भारतीय समाज पार्टी (सुभासपा) को 6 सीटें मिली हैं.


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वहीं दूसरी ओर भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) ने अकेले 255 सीटें जीतकर बहुमत हासिल कर लिया, जबकि उसकी अगुवाई वाले गठबंधन को कुल 273 सीटें मिली हैं.


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