नई दिल्ली: कांग्रेस नेता एवं पार्टी विधायक दल की बैठक के लिए केंद्रीय पर्यवेक्षक सुशील कुमार शिंदे ने सोमवार को कहा कि वरिष्ठ नेता सिद्धारमैया और डीके शिवकुमार को जरूरत पड़ने पर परामर्श के लिए दिल्ली बुलाया जा सकता है. दोनों नेताओं को कर्नाटक के मुख्यमंत्री पद की दौड़ में सबसे आगे माना जा रहा है.


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'मल्लिकार्जुन खड़गे ही कर सकते हैं इसका खुलासा'
कांग्रेस नेता सुशील कुमार शिंदे ने पत्रकारों से कहा, 'हम पर्यवेक्षक, कांग्रेस महासचिव एवं कर्नाटक के प्रभारी रणदीप सिंह सुरजेवाला और महासचिव (संगठन) के. सी. वेणुगोपाल के साथ दिल्ली जाएंगे.'


उन्होंने कहा, 'हमारी रिपोर्ट (कांग्रेस विधायक दल की बैठक में मिली प्रतिक्रिया पर आधारित) गोपनीय है, जिसका खुलासा हम नहीं कर सकते. हमारे पार्टी अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ही इसका खुलासा कर सकते हैं.'


सिद्धारमैया और शिवकुमार को बुलाया जाएगा दिल्ली?
उन्होंने कहा कि जरूरत पड़ी तो सिद्धारमैया और शिवकुमार को दिल्ली बुलाया जाएगा. खड़गे ने कांग्रेस विधायक दल (सीएलपी) के नेता के चुनाव के लिए महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री शिंदे, अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी (एआईसीसी) के महासचिव जितेंद्र सिंह और एआईसीसी के पूर्व महासचिव दीपक बाबरिया को पर्यवेक्षक नियुक्त किया है.


कर्नाटक के नवनिर्वाचित कांग्रेस विधायकों ने रविवार को पार्टी अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे को विधायक दल का नेता चुनने के लिए अधिकृत किया था. 


कांग्रेस के तीनों केंद्रीय पर्यवेक्षकों और वरिष्ठ नेता सुशील कुमार शिंदे, जितेंद्र सिंह और दीपक बाबरिया ने पार्टी के नवनिर्वाचित विधायकों से अलग-अलग बात कर उनकी राय जानी. यह तीनों पर्यवेक्षक और पार्टी महासचिव एवं कांग्रेस के कर्नाटक मामलों के प्रभारी रणदीप सिंह सुरजेवाला दिल्ली पहुंच गए.


डिनर के बाद विधायकों से अलग-अलग उनकी राय जानी
रविवार रात बेंगलुरु के एक होटल में पर्यवेक्षकों ने रात्रिभोज के बाद विधायकों से अलग-अलग उनकी राय जानी कि प्रदेश का अगला मुख्यमंत्री कौन होना चाहिए. पूर्व मुख्यमंत्री सिद्धारमैया और प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष डीके शिवकुमार मुख्यमंत्री पद के प्रबल दावेदार माने जा रहे हैं.


कांग्रेस विधायक दल (सीएलपी) की रविवार शाम बेंगलुरु के एक निजी होटल में हुई बैठक में सर्वसम्मति से प्रस्ताव पारित कर पार्टी अध्यक्ष को विधायक दल का नेता चुनने का अधिकार दिया गया, जो कर्नाटक का अगला मुख्यमंत्री बनेगा.


राज्य में 224 सदस्यीय विधानसभा के लिए 10 मई को हुए चुनाव में कांग्रेस ने शानदार जीत हासिल करते हुए 135 सीट जीतीं, जबकि सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) और जनता दल (सेक्युलर) ने क्रमश: 66 और 19 सीट हासिल कीं.
(इनपुट- भाषा)


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