सिद्धारमैया और डीके शिवकुमार दोनों कैसे बनेंगे कर्नाटक के सीएम? समझिए कांग्रेस का 'फॉर्मूला'

कर्नाटक में सिद्धारमैया और डीके शिवकुमार के मुख्यमंत्री कार्यकाल साझा करने की संभावना जताई जा रही है. सूत्रों के अनुसार, सिद्धारमैया पहला कार्यकाल चाहते हैं. वह पहले दो वर्षों के बाद शेष कार्यकाल के लिए शिवकुमार को पद छोड़ देंगे.

Written by - Zee Hindustan Web Team | Last Updated : May 15, 2023, 01:35 PM IST
  • कौन बनेगा कर्नाटक का अगला मुख्यमंत्री?
  • सिद्धारमैया और शिवकुमार के बीच बनेगी बात?
सिद्धारमैया और डीके शिवकुमार दोनों कैसे बनेंगे कर्नाटक के सीएम? समझिए कांग्रेस का 'फॉर्मूला'

नई दिल्ली: कर्नाटक विधानसभा चुनाव में प्रचंड जनादेश के बाद कांग्रेस, पार्टी के वरिष्ठ नेताओं सिद्धारमैया और डी.के.शिवकुमार द्वारा मुख्यमंत्री पद के खुले दावों के बाद इसे अंतिम रूप देने में जुटी है. एआईसीसी के सूत्रों ने समाचार एजेंसी आईएएनएस को बताया कि सिद्धारमैया ने एक सुझाव दिया है कि वह शिवकुमार के साथ मुख्यमंत्री पद साझा करने के इच्छुक हैं.

पहला कार्यकाल चाहते हैं सिद्धारमैया
सूत्रों के अनुसार, सिद्धारमैया पहला कार्यकाल चाहते हैं. वह पहले दो वर्षों के बाद शेष कार्यकाल के लिए शिवकुमार को पद छोड़ देंगे. सिद्धारमैया और शिवकुमार क्रमश: कुर्बा और वोक्कालिगा समुदाय से आते हैं. दोनों को समायोजित करने के लिए कांग्रेस आलाकमान प्रयासरत है.

कांग्रेस आलाकमान के सोमवार को ही इस फैसले को अंतिम रूप देने की संभावना है और पहले कार्यकाल के लिए सिद्धारमैया के मुख्यमंत्री बनने की प्रबल संभावना है.

शिवकुमार की हो सकती हैं ये शर्तें!
पार्टी के सूत्रों ने आईएएनएस को बताया कि शिवकुमार भी इस व्यवस्था के लिए राजी होंगे, लेकिन उन्होंने पार्टी आलाकमान को स्पष्ट रूप से सूचित कर दिया है कि उन्हें गृह मंत्रालय के पद के साथ एकल उपमुख्यमंत्री बनाया जाना चाहिए.

कर्नाटक कांग्रेस के एक वरिष्ठ नेता के अनुसार, लगभग 70 प्रतिशत निर्वाचित विधायकों ने मुख्यमंत्री के रूप में सिद्धारमैया का समर्थन किया है. एआईसीसी पर्यवेक्षक महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री सुशील कुमार शिंदे, जितेंद्र सिंह और दीपक बाबरिया से परामर्श के बाद एआईसीसी अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे द्वारा अंतिम निर्णय की घोषणा की जाएगी.

एआईसीसी अध्यक्ष खड़गे सोनिया, राहुल और प्रियंका गांधी के साथ-साथ एआईसीसी महासचिव (संगठन) के.सी. वेणुगोपाल और कर्नाटक के प्रभारी एआईसीसी महासचिव रणदीप सिंह सुरजेवाला के साथ विचार-विमर्श कर रहे हैं.

मल्लिकार्जुन खड़गे को रिपोर्ट सौंपेंगे पर्यवेक्षक
कर्नाटक में कांग्रेस विधायक दल के नेता के संदर्भ में विधायकों की राय जानने के लिए बेंगलुरु भेजे गए पार्टी के तीनों पर्यवेक्षक सोमवार को दिल्ली लौट आए और अब वे पार्टी अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे को अपनी रिपोर्ट सौंपेंगे. कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने कर्नाटक में कांग्रेस विधायक दल (सीएलपी) का नेता चुनने के लिए वरिष्ठ नेता सुशील कुमार शिंदे, जितेंद्र सिंह और दीपक बाबरिया को पर्यवेक्षक नियुक्त किया था.

तीनों पर्यवेक्षकों ने पार्टी के नवनिर्वाचित विधायकों से अलग-अलग बात कर उनकी राय जानी. यह तीनों पर्यवेक्षक और पार्टी महासचिव एवं कांग्रेस के कर्नाटक मामलों के प्रभारी रणदीप सिंह सुरजेवाला दिल्ली पहुंच गए हैं. रविवार रात बेंगलुरु के एक होटल में पर्यवेक्षकों ने रात्रिभोज के बाद विधायकों से अलग-अलग उनकी राय जानी कि प्रदेश का अगला मुख्यमंत्री कौन होना चाहिए.

खड़गे को विधायक दल का नेता चुनने का अधिकार!
पूर्व मुख्यमंत्री सिद्धरमैया और प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष डीके शिवकुमार मुख्यमंत्री पद के प्रबल दावेदार माने जा रहे हैं. कर्नाटक के नवनिर्वाचित कांग्रेस विधायकों ने रविवार को पार्टी अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे को विधायक दल का नेता चुनने के लिए अधिकृत कर दिया था.

कांग्रेस विधायक दल (सीएलपी) की रविवार शाम बेंगलुरु के एक निजी होटल में हुई बैठक में सर्वसम्मति से प्रस्ताव पारित कर पार्टी अध्यक्ष को विधायक दल का नेता चुनने का अधिकार दिया गया, जो कर्नाटक का अगला मुख्यमंत्री बनेगा.

राज्य में 224 सदस्यीय विधानसभा के लिए 10 मई को हुए चुनाव में कांग्रेस ने शानदार जीत हासिल करते हुए 135 सीटें अपने नाम कीं, जबकि सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) और पूर्व प्रधानमंत्री एच डी देवेगौड़ा नीत जनता दल (सेक्युलर) ने क्रमश: 66 और 19 सीटें जीतीं.
(इनपुट- एजेंसी)

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