नई दिल्ली: उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सोमवार को कहा कि जनसंख्या नियंत्रण कार्यक्रम सफलतापूर्वक आगे बढ़े, लेकिन जनसांख्यिकी असंतुलन की स्थिति भी न पैदा हो पाए. लखनऊ में विश्व जनसंख्या दिवस के मौके पर 'जनसंख्या स्थिरता पखवाड़ा' की शुरुआत किया.


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'जनसंख्या स्थिरता पखवाड़ा' की शुरुआत


इस दौरान सीएम योगी ने कहा, 'जब हम परिवार नियोजन/जनसंख्या स्थिरीकरण की बात करते हैं तो हमें ध्यान में रखना होगा कि जनसंख्या नियंत्रण कार्यक्रम सफलतापूर्वक आगे बढ़े, लेकिन जनसांख्यिकी असंतुलन की स्थिति भी न पैदा होने पाए.'


उन्होंने कहा, 'हम सभी जानते हैं कि बीते पांच वर्षों से देशभर में जनसंख्या स्थिरीकरण को लेकर व्यापक जागरूकता कार्यक्रम चलाए जा रहे हैं. एक निश्चित पैमाने पर जनसंख्या समाज की उपलब्धि भी है, लेकिन यह उपलब्धि तभी है, जब समाज स्वस्थ व आरोग्यता की स्थिति को प्राप्त कर सके.'


जनसंख्या विस्फोट अपने आप में एक चुनौती


मुख्यमंत्री कार्यालय की ओर से जारी ट्वीट के मुताबिक, योगी ने कहा कि अगर हमारे पास कुशल श्रम शक्ति है तो यह समाज के लिए एक उपलब्धि है, लेकिन जहां बीमारी, अव्यवस्था, पर्याप्त संसाधनों का अभाव हो, वहां जनसंख्या विस्फोट अपने आप में एक चुनौती भी होता है.


योगी ने कहा कि उत्तर प्रदेश आबादी के लिहाज से देश का सबसे बड़ा प्रदेश है और आशा बहनें, आंगनबाड़ी कार्यकर्ताएं, ग्राम प्रधान, क्षेत्र पंचायत समिति सहित अन्य प्रतिनिधिगण व शिक्षकगण स्वास्थ्य विभाग के साथ मिलकर जनसंख्या नियंत्रण कार्यक्रम को और बेहतरीन तरीके से आगे बढ़ा सकते हैं.


उन्होंने इस दिशा में सामूहिक प्रयास करने की सलाह भी दी. मुख्यमंत्री ने विश्व जनसंख्या दिवस के अवसर पर समस्त प्रदेश वासियों को हार्दिक बधाई दी. कार्यक्रम में उप-मुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक, स्वास्थ्य राज्य मंत्री मयंकेश्वर शरण सिंह और मुख्य सचिव दुर्गा शंकर मिश्र सहित कई अन्य हस्तियां मौजूद थीं.


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