क्या सचमुच कांग्रेस नेताओं पर दबाव बना रही है केंद्र सरकार? प्रियंका गांधी ने लगाए ये 7 आरोप
कांग्रेस नेता प्रियंका गांधी ने आरोप लगाया है कि जांच एजेंसियों के माध्यम से छत्तीसगढ़ के कांग्रेस नेताओं पर केंद्र सरकार दबाव बना रही है. आपको पूरा माजरा समझाते हैं.
नई दिल्ली: कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी ने रविवार को भाजपा के नेतृत्व वाली केंद्र सरकार पर आरोप लगाया कि वह जांच एजेंसियों के माध्यम से छत्तीसगढ़ के कांग्रेस नेताओं पर दबाव बनाने की कोशिश कर रही है. राजधानी रायपुर के जोरा गांव में कांग्रेस के 85 वें राष्ट्रीय अधिवेशन के समापन एक रैली को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा इस तरह के छापे छत्तीसगढ़ के लोगों और उनके अधिकारों पर हमला है.
प्रियंका ने मोदी सरकार पर लगाए ये 7 आरोप
1). उन्होंने कहा कि नरेंद्र मोदी सरकार केवल अपने ‘उद्योगपति दोस्तों’ की आवाज सुनती है तथा गरीबों की आवाज को नजरअंदाज कर रही है. प्रियंका गांधी ने कहा कि यह छत्तीसगढ़ की उनकी पहली यात्रा है. उन्होंने कहा, 'मैं पहली बार छत्तीसगढ़ आई हूं और मुझे बहुत खुशी है कि यहां एक भव्य राष्ट्रीय अधिवेशन का आयोजन किया गया. मैंने अपनी दादी इंदिरा जी से छत्तीसगढ़ की संस्कृति और परंपरा के बारे में सुनी थी, लेकिन अब मैंने इसे देखा है.'
2). उन्होंने कहा, 'शनिवार को सिरपुर (महासमुंद जिला) गई और वहां बुद्ध विहार, शिव जी मंदिर देखा और लोगों की एकजुटता और एकता को दर्शाने वाली आदिवासी परंपराओं को भी देखा. हमारा संविधान भी उसी एकता में विश्वास करता है.' प्रियंका गांधी ने कहा, 'जब हम सभी कहते हैं कि हम संविधान को बचाने के लिए लड़ रहे हैं तो हम सभी के लिए इसका क्या मतलब है..सबसे पहले यह समानता और सभी के लिए समान अधिकार सुनिश्चित करने की बात करता है. कानून बराबर है. इसलिए अगर संविधान कमजोर है तो नेताओं को अन्याय करने का मौका मिल जाता है. संविधान सभी को समान अवसर देता है.'
3). उन्होंने कहा कि मीडिया, न्यायपालिका और संसद संविधान की रक्षा करते हैं. (भाजपा) सरकार मीडिया और न्यायपालिका को दबाने की कोशिश कर रही है. प्रियंका गांधी ने कहा कि 'वे (सत्तापक्ष) संसद में विरोधियों की आवाज को भी दबा देते हैं. कांग्रेस महत्वपूर्ण मुद्दों पर चर्चा चाहती है, लेकिन संसद हमारी (राहुल गांधी और खड़गे) आवाजों को रिकॉर्ड पर भी नहीं लेती है.'
4). उन्होंने कहा, 'छत्तीसगढ़ में हमारे नेताओं पर ईडी (प्रवर्तन निदेशालय) और आईटी (आयकर) के छापे पड़ रहे हैं. ऐसा इसलिए क्योंकि छत्तीसगढ़ की सरकार और मुख्यमंत्री (भूपेश बघेल) अच्छा काम कर रहे हैं और पूरे देश में राज्य को मॉडल के तौर पर देखा जा रहा है. वे (भाजपा) दिखाना चाहते हैं कि (कांग्रेस) सरकार आपके लिए अच्छी नहीं है. लेकिन आप जानते हैं कि क्या अच्छा काम किया जा रहा है. वे एजेंसियां भेजते हैं और हमें दबाने की कोशिश करते हैं. वे जानते हैं कि हम दोबारा जीतेंगे और इसलिए वे ऐसा कर रहे हैं.'
5). प्रियंका गांधी ने कहा कि कांग्रेस नेताओं पर ईडी का छापा कांग्रेस पार्टी पर नहीं बल्कि छत्तीसगढ़ के लोगों और उनके अधिकारों पर हमला है. उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और उद्योगपति गौतम अडानी को निशाने पर लिया और भाजपा के नारे 'सबका साथ, सबका विकास' का माखौल उड़ाते हुए इसे 'मित्र का साथ, मित्र का विकास' कहा. प्रियंका गांधी ने कहा कि इस देश की हकीकत सभी को समझनी होगी; किसे मौका मिल रहा है. सभी छोटे व्यवसाय समाप्त हो गए हैं.
6). उन्होंने कहा कि किसान प्रतिदिन 27 रुपये कमा रहे हैं जबकि प्रधानमंत्री के एक व्यवसायी मित्र ने प्रतिदिन 1600 करोड़ रुपये कमाए हैं. उन्होंने कहा, 'युवा बेरोजगार हैं, लेकिन एयरपोर्ट, बंदरगाह, रेलवे और पीएसयू गौतम अडानी को सौंपे जा रहे हैं.' उन्होंने कहा कि 'तीन साल में एक लाख से अधिक मजदूरों ने आत्महत्या की लेकिन अडानी की संपत्ति में 13 गुना वृद्धि हुई.'
7). प्रियंका गांधी ने आरोप लगाया कि 'भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के तमाम नेता अडानी के समर्थन में बोल रहे हैं; गरीबों की आवाज नहीं सुनी जा रही है, मोदी के उद्योगपति मित्रों की ही बात सुनी जा रही है. कृपया हकीकत देखें. देखिए, सत्ता में आने पर कौन आपके पक्ष में काम करता है.' उन्होंने कहा कि वे कहते हैं कि सबका साथ सबका विकास, लेकिन जो हो रहा है वह मित्र का साथ मित्र का विकास है.
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