क्या है पार्क-स्ट्रीट गैंगरेप केस? जिसके आरोपी को बचाने के लिए नुसरत जहां ने किया था `कांड`
क्या आप उस गैंगरेप केस के बारे में सबकुछ जानना चाहते हैं, जिसका सीधा कनेक्शन TMC सांसद नुसरत जहां से है. उस वक्त नुसरत जिसकी गर्लफ्रेंड थी, वो कादर खान इस केस का आरोपी है.
नई दिल्ली: 5 फरवरी 2012 की देर रात कोलकाता के पॉश इलाके पार्क स्ट्रीट के एक नाइट क्लब में सुजैट की पांच लड़कों से मुलाकात होती है. इन पांच लड़कों का नाम कादर खान, मोहम्मद अली, नासिर खान, रूमान खान, सुमित बजाज था.
सुजैट को ड्रॉप करने के बहाने किया रेप
6 फरवरी (रात 12 बजे के बाद) सुजैट बाहर टैक्सी ढूंढती है, रात ज्यादा हो गई थी कोई गाड़ी नहीं मिल रही थी. तभी वो पांचों लड़के सुजैट को देखते हैं, कहते हैं कोई बात नहीं हम ड्रॉप कर देते हैं.
इसके बाद चलती कार में सुजैट के साथ गन पॉइंट पर पांचों गैंगरेप करते हैं और चलती गाड़ी से कोलकाता के एक्साइड क्रॉसिंग एरिया में फेंक कर फरार हो जाते हैं.
रात करीब साढ़े 3 बजे के आसपास घायल अवस्था में सुजैट किसी तरह टैक्सी करके बेहाला स्थित अपने घर पहुंचती है. 9 फरवरी को सुजैट हिम्मत जुटाकर एफआईआर (FIR) कराने थाने पहुंचती है. वहां उस वक्त मौजूद इंस्पेक्टर हंसता है और कहता है कि कार में 5 लोगों ने रेप कैसे किया, क्या पोज था.
14 फरवरी को हुई रेप की पुष्टि
14 फरवरी को मेडिकल एग्जामिनेशन में प्राइवेट पार्ट पर जख्म होने की रिपोर्ट आती है. इसे रेप की पुष्टि माना गया. इसके आधार पर केस कोलकाता पुलिस की डिटेक्टिव ब्रांच को जाता है.
मामला आईपीएस दमयंती सेन के हाथ में आया. शुरुआत में जांच कठिन थी, कहा जाता है कि सभी आरोपियों ने सुजैट को नाम गलत बताए थे, जिससे उनकी पहचान होनी मुश्किल थी. लेकिन दमयंती सेन ने तमाम हंगामे के बीच पांचों आरोपियों की पहचान की.
18 फरवरी को आईपीएस दमयंती सेन के नेतृत्व में पुलिस को पहली सफलता मिली. नसीर, रूमान, सुमित की अरेस्टिंग होती है. अली और कादर फरार थे. 2 मार्च को ट्रायल शुरू हुआ और अली और कादर की फरारी दिखाते हुए मई में फाइनल चार्जशीट दाखिल होती है.
दमयंती सेन को मिली पनिशमेंट पोस्टिंग
04 अप्रैल को इस केस से विवादों की शुरुआत होती है जब कोलकाता क्राइम ब्रांच की जॉइंट कमिश्नर दमयंती सेन को पनिशमेंट पोस्टिंग के तहत शंट करके बैरकपुर में डीआईजी ट्रैनिंग बनाकर भेज दिया जाता है.
19 फरवरी 2013 एक साल बाद फास्टट्रैक कोर्ट में तीनों अटेस्टेड नासिर, रूमान, सुमित के खिलाफ गैंगरेप, आपराधिक षड्यंत्र और जान से मारने की धमकी जैसे आरोप फ्रेम होते हैं.
जून 2013 में इस मामले ने पूरे देश को फिर से हिला दिया जब सुजैट ने कोलकाता में हो रहे रेप इंसीडेंट के खिलाफ खुलकर उतरने का फैसला किया. और कहा कि अब मैं नहीं चाहती कि मुझे चेहरा ब्लर करके या गैंगरेप पीड़िता लिखकर दिखाया जाए. सुजैट ने फैसला किया कि आइडेंटिटी रिवील की जानी चाहिए.
सुजैट की कोलकाता के अस्पताल में हुई मौत
13 मार्च 2015 को सुजैट की स्टेट रन हॉस्पिटल कोलकाता में दिमागी बुखार जैसी किसी बीमारी से डेथ हो गई. नवंबर 2015, ट्रायल शुरू होने के करीब चार साल बाद कोलकाता सेशन कोर्ट ने एलान किया कि 10 दिसम्बर को फैसला आएगा. फैसले में तीनों को दोषी माना गया और अली-कादर दोनों को फरार बताया गया.
11 दिसंबर 2015 को सजा का एलान हुआ और तीनों को दस साल की कैद की सजा हुई. सितम्बर 2016 , यानी घटना के चार साल बाद, गाज़ियाबाद से कादर खान और मोहम्मद अली को गिरफ्तार कर लिया गया. दोनों गाजियाबाद में अपने किसी रिश्तेदार के यहां छुपे थे.
कादर खान और नुसरत जहां का कनेक्शन
नुसरत पर गैंगरेप के आरोपी कादर खान को पनाह देने का आरोप है. मुंबई के होटल में कादर के लिए नुसरत ने कमरा बुक किया था. निखिल जैन से पहले नुसरत जहां पार्क स्ट्रीट गैंगरेप के आरोपी कादर खान से प्यार करती थीं. दोनों का निकाह होते-होते रह गया. 2012 में कोलकाता के पार्क स्ट्रीट में एक एंग्लो इंडियन महिला के साथ गैंगरेप हुआ था. इसमें कादरखान समेत पांच लोगों को आरोपी बनाया गया था.
पुलिसिया जांच में नुसरत ने झूठ बोला था. बयान में नुसरत ने कहा था कि वो रेप कांड के बाद कभी कादरखान से नहीं मिली. गैंगरेप के आरोपी कादरखान की तलाश में पुलिस जब खाक छान रही थी, तो नुसरत और कादर मुंबई में साथ थे.
गैंगरेप के आरोपी से नुसरत जहां की 'मोहब्बत' का किस्सा, कादर खान को दी थी पनाह!
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