Death Certificate: इंश्योरेंस कवर पाने के लिए जरूरी है डेथ सर्टिफिकेट, जानिए कैसे करें आवेदन
जमीन-जायदाद से जुड़े मसलों के समाधान और इंश्योरेंस कवर पाने के लिए डेथ सर्टिफिकेट बहुत जरूरी होता है. आइए जानते हैं कि डेथ सर्टिफिकेट कैसे बनता है.
नई दिल्ली: किसी भी व्यक्ति की मौत के बाद उसके परिवार के लिए उसका डेथ सर्टिफिकेट बहुत जरूरी होता है. उत्तराधिकार के मामलों, इंश्योरेंस कवर और जमीन-जायदाद से जुड़े मसलों के समाधान के लिए डेथ सर्टिफिकेट बहुत महत्वपूर्ण दस्तावेज है.
कैसे करें डेथ सर्टिफिकेट के लिए आवेदन
किसी भी व्यक्ति की मौत के 21 दिनों के भीतर ही डेथ सर्टिफिकेट के लिए आवेदन किया जा सकता है.
आवेदन करने के बाद आमतौर पर सात दिनों के भीतर ही डेथ सर्टिफिकेट मिल जाता है.
व्यक्ति की मौत के 21 दिनों के भीतर ही परिवारजन को रजिस्ट्रार ऑफिस में व्यक्ति की मौत की सूचना देनी होती है.
अगर आप 21 दिनों के भीतर डेथ सर्टिफिकेट के लिए आवेदन नहीं कर पाते हैं, तो आपको पेनॉल्टी देनी पड़ेगी.
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डेथ सर्टिफिकेट बनवाने के लिए आप अपने स्थानीय निकाय से डेथ सर्टिफिकेट रजिस्ट्रेशन फॉर्म हासिल कर सकते हैं. आप यह फॉर्म अपने नगर निगम की वेबसाइट से भी डाउनलोड कर सकते हैं.
फॉर्म में जरूरी जानकारी भरने के बाद आपको इसे रजिस्ट्रार ऑफिस में जमा करना होगा.
इस फॉर्म में आपको मृतक का निजी ब्यौरा भी देना होता है.
आपको डेथ सर्टिफिकेट रजिस्ट्रेशन फॉर्म के साथ मृतक का बर्थ सर्टिफिकेट, डेट ऑफ डेथ और टाइम बताने वाला एफिडेविट, राशन कार्ड की फोटोकॉपी, आधार कार्ड और NOC आदि की कॉपी भी जमा करनी होगी.
डेथ सर्टिफिकेट के लिए आवेदन करने वाले व्यक्ति को यह भी प्रमाण देना होगा कि वह मृतक से कैसे संबंधित है.
कई राज्यों में ऑनलाइन पोर्टल के माध्यम से भी डेथ सर्टिफिकेट के लिए आवेदन किया जा सकता है.
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