नई दिल्लीः अमेरिका ने ईरानी सेना की ओर से अवैध व्यापार और मानवरहित यानों की आपूर्ति करने को लेकर एक दर्जन से अधिक कंपनियों, व्यक्तियों और जहाजों पर बृहस्पतिवार को पाबंदियां लगायीं. इनमें तीन भारतीय कंपनियां भी शामिल हैं जिन पर पाबंदियां लगाई गई हैं. 


अमेरिका ने लगाया ये आरोप


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अमेरिका के वित्त विभाग ने कहा कि इन कंपनियों, व्यक्तियों और जहाजों ने यूक्रेन में रूस की ओर से छेड़ी गई लड़ाई में ईरानी मानवरहित यानों की गुप्त बिक्री में अहम भूमिका निभाई है. सहारा थंडर को ऐसी मुख्य अग्रणी कंपनी के रूप में पहचान की गई है जो इन प्रयासों में ईरान की वाणिज्यिक गतिविधियों की देखरेख करती है. 


सहारा थंडर को मदद पहुंचाने को लेकर भारत की जिन तीन कंपनियों पर प्रतिबंध लगाया गया है, वे जेन शिपिंग, पोर्ट इंडिया प्राइवेट लिमिटेड और सी आर्ट शिप मैनेजमेंट प्राइवेट लिमिटेड हैं.


सहारा थंडर के पास है बड़ा शिपिंग नेटवर्क 


अमेरिकी एजेंसी के मुताबिक, ईरानी सैन्य यूनिट सहारा थंडर एक बड़े शिपिंग नेटवर्क वाली कंपनी है. यह ईरान के रक्षा और सशस्त्र बल रसद मंत्रालय की ओर से पीपुल्स रिपब्लिक ऑफ चाइना, रूस, वेनेजुएला व अन्य देशों में ईरानी सामान बेचती है. 


मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, सहारा थंडर ने कुक आइलैंड्स-ध्वजांकित जहाज सीएचईएम के लिए भारत स्थित जेन शिपिंग और पोर्ट इंडिया लिमिटेड के साथ करार किया है. वहीं इसका मैनेजमेंट यूएई स्थित सेफ सीज शिप मैनेजमेंट एफजेडई की ओर से किया जाता है.


कहा जा रहा है कि ईरान स्थित एशिया मरीन क्राउन एजेंसी ने कई सहारा थंडर शिपमेंट में मदद करते हुए ईऱान के बंदर अब्बास में बंदरगाह एजेंट के रूप में काम किया है. साथ ही भारत स्थित सी आर्टशिप मैनेजमेंट प्राइवेट लिमिटेड और यूएई की ट्रांस गल्फ एजेंसी एलएलसी ने सहारा थंडर के समर्थन में जहाजों के मैनेजमेंट के लिए साथ मिलकर कार्य किया है. वहीं इसके एवज में यूएई और ईरान की कोरल ट्रेडिंग ईएसटी ने सहारा थंडर से ईरान की चीजें खरीदीं.


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