नई दिल्ली: चीन इन दिनों नेपाल को उकसा कर वहां भारत के खिलाफ माहौल बनाने की कोशिश कर रहा है. नेपाल की सरकार चीन के इशारे पर चल रही है, जिसकी वजह से भारत-नेपाल के रिश्तों में तनाव आ गया है. लेकिन नेपाल के लोग अपनी सरकार के रवैये से खुश नहीं हैं वो भारत के साथ दोस्ती चाहते हैं.


उकसावे में आकर भारत से रिश्ते बिगाड़ रहा है नेपाल


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चीन के उकसावे में आकर नेपाल की ओली सरकार भारत से अपने संबंधों को लगातार बिगाड़ने के प्रयास में जुटी है. ओली सरकार अब अपने FM स्टेशन के माध्यम से हिन्दुस्तान के खिलाफ प्रोपेगेंडा की साजिशों में जुट गई है. आपको बता दें, नेपाल के FM स्टेशनों पर दिन रात कालापानी और लिपुलेख पर अपना दावा जताने वाले संगीत और गीत गाये जा रहे हैं.


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ये वीडियो इस बात का गवाह है कि किस तरह नेपाल में भारत के खिलाफ नफरत भड़काने की कोशिश की जा रही है. जिस नेपाल के साथ भारत का बेटी और रोटी का रिश्ता रहा है, वहां भारत के खिलाफ दुष्प्रचार किया जा रहा है ताकि नेपाल की जनता के मन में भारत को लेकर गलत छवि बनाई जा सके और ये सब चीन के इशारे पर हो रहा है.


ग्राउंड रिपोर्ट में ओली सरकार सच्चाई आ गई सामने


चीन की साजिश की पोल खोलने के लिए ज़ी मीडिया की टीम धारचूला में भारत नेपाल बॉर्डर पर पहुंची. वहां पता चला कि सीमा से सटे नेपाल के कई एफएम स्टेशन भारत के खिलाफ जहर उगलने में लगे हुए है. वहीं सोशल मीडिया पर भी लोगों को भड़काने के मकसद से कई वीडियो वायरल किये जा रहे हैं. इन वीडियो में नेपाल कालापानी, लिपुलेख समेत कई इलाकों पर अपना अवैध दावा जाता रहा है.


दोस्ती को खतरे में डालकर सांप को दूध पिला रहा है नेपाल


नेपाल भारत का सदियों पुराना दोस्त है. लेकिन पिछले कुछ समय से नेपाल ने चीन के बहकावे में आ कर जो कदम उठाए हैं. उससे भारत नेपाल के रिश्ते में तनाव आ गया है, लेकिन नेपाल की कम्युनिस्ट सरकार भारत की कीमत पर चीन से दोस्ती बढ़ा रही है. भारत और नेपाल सीमा पर रहने वाले लोग नेपाल सरकार के इस रवैये से काफी नाराज है.


रिश्तों को बिगाड़कर फायदा उठाना चाहता है चीन


भारत-नेपाल बॉर्डर के पास रहने वाले लोगों से जब ज़ी मीडिया ने बातचीत की और इस मसले पर उनकी राय मांगी तो उन लोगों से सीधे शब्दों में ये आरोप लगा दिया कि चीन अपनी चालाकी से भारत और नेपाल के संबंधों को बिगाड़ने के प्रयास में जुटा हुआ है. इतना ही नहीं लोगों का तो ये तक कहना है कि नेपाल के आतंरिक मामलों में चीन लगातार दखल देने की करतूत कर रहा है और नेपाल के पीएम जनाब केपी ओली ड्रैगन की कठपुतली की तरह काम कर रहे हैं.


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चीन के उकसावे में आकर नेपाल की संसद में एक प्रस्ताव पारित किया गया, जिसमें भारत के तीन इलाकों पर अवैध दावा किया गया जिसमें कालापानी, लिंपियाधुरा और लिपुलेख शामिल है.


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