नई दिल्ली: वैज्ञानिकों ने पहली बार आकाशगंगा के बीचों बीच स्थित ब्लैक होल की तस्वीर जारी की है. ये वाकई ऐतिहासिक है, जब पहली बार खगोलविदों ने हमारी आकाशगंगा के केंद्र में एक सुपरमैसिव ब्लैक होल की एक छवि पर खोज कर लिया है. गुरूवार को पूरी दुनिया ने आकाशगंगा के केंद्र में ब्लैक होल की पहली दहकती हुई लेकिन धुधली तस्वीर देखी.


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'दहकते अंगारे' की तस्वीर


सैजिटेरियस ए नाम का यह ब्लैक होल हमारे सूर्य के द्रव्यमान से 43 लाख गुना बड़ा है. नीचे दी गई इस तस्वीर को ध्यान से देखिए. इसमें एक गहरा अंधेरा क्षेत्र दिख रहा है यही ब्लैक होल है. यह पूरा इलाका गुरुत्वाकर्षण बलों के जरिए सुपर-हीटेड गैस से आने वाले प्रकाश से घिरा होता है.



इंटरनेशनल कंसोर्टियम ने जारी की तस्वीर


ये तस्वीरें इंटरनेशनल कंसोर्टियम (International Consortium) ने जारी की है. उत्सुकता से प्रतीक्षित चित्र, दुनिया के सामने आई है, धनु A* को दर्शाता है. यह ब्लैक होल हमारे सौर मंडल से 27,000 प्रकाश-वर्ष की दूरी पर स्थित है. यह तस्वीर Horizon Telescope से खींची गई है. दुनिया के अलग-अलग हिस्सों में इस तरह के 8 सिंक्रोनाइज रेडियो टेलीस्कोप लगाए गए हैं.


एरिजोना यूनिवर्सिटी के प्रोफेसर फेरियल ओज़ेल ने कहा कि 'यह छवि ब्लैक होल के चारो तरफ एक चमकती हुई अंगूठी की तरह है. इस ब्लैक होल को धनु A कहा जाता है. सुपरमैसिव ब्लैक होल के वहां होने का संदेह है. यह दशकों से गहन खगोलीय अध्ययन का केंद्र रहा है. इसके चारों ओर परिक्रमा कर रहे तारों के अवलोकन से एक ऐसी चीज का पता चला जो बहुत भारी है.'


खगोलविदों द्वारा ब्लैक होल की पहली तस्वीर का खुलासा करने के ठीक तीन साल बाद यह रहस्य सामने आया. धनु A* मेसियर 87 से 2,000 गुना छोटा होने के बावजूद, दो ब्लैक होल में आश्चर्यजनक समानताएं हैं.


ब्लैक होल को सैजिटैरियस नाम दिया गया


मिल्की वे के ब्लैक होल को सैजिटैरियस नाम दिया गया है. यह सूर्य से भी 43 लाख गुना भारी है. वैज्ञानिकों का मानना है कि करीब सभी आकाशगंगाओं के केंद्र में ये विशाल ब्लैक होल हैं. इन ब्लैक होल में प्रकाश और पदार्थ बच नहीं सकते हैं. ऐसे में उनकी तस्वीर लेना बहुत मुश्किल हो जाता है.



वहां पर गुरुत्वाकर्षण के प्रभाव से प्रकाश यानी बेतरतीब तरीके से चारों ओर फैल जाता है. ये ब्लैक होल अत्यधिक गरम गैस और धूल से बने होते हैं. ब्लैक होल कुछ विशालकाय तारों के धमाके से नष्ट होने के बाद बनते हैं.


यह किसी  ब्लैक होल की पहली तस्वीर नहीं है. इसी संगठन ने 2019 में भी एक ब्लैक होल की तस्वीर जारी की थी हालांकि यह एक ऐसी गैलेक्सी की थी जो कि पृथ्वी से 5.3 करोड़  प्रकाश  वर्ष की दूरी पर है. इसकी तुलना में मिल्की वे का ब्लैक होल काफी करीब है. यह केवल 27 हजार प्रकाश वर्ष की दूरी पर है.


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