नई दिल्ली: मुल्कभर में जारी किसान आंदोलन के बीच मरकज़ी वज़ीर कानून रविशंकर प्रसाद ने प्रेस कांफ्रेंस कर तमाम अपोज़ीश पार्टियों पर पर हमला बोला है. उन्होंने आगे कहा कि आज हम अपोज़ीशन पार्टियों, खासकर कांग्रेस, NCP और उनके हिमायती पार्टियों के शर्मनाक दोहरे किरदार को मुल्क के सामने बताने आए हैं. आज जब इनका राजनीतिक वजूद खत्म हो रहा है तो अपना वजूद बचाने के लिए ये किसी भी मुखालिफ आंदोलन में शामिल हो जाते हैं.


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साथ ही उन्होंने किसानों को कानून से मुतअल्लिक कई गलतफहमियों पर सफाई पेश की है. रविशंकर प्रसाद ने किसानों को यकीन दिहानी दिलाते हुए कहा कि किसानों की ज़मीन कोई नहीं छीन सकती और कोई लीज़ पर ले सकता है. 


रविशंकर प्रसाद ने कहा कि आज जो हमने काम किया है वो 8-9 साल पहले मनमोहन सिंह जी की सरकार ये कर रही थी. 2005 में शरद पवार ये बोल रहे थे, जिस वक्त शरद पवार ये बोल रहे थे कि अगर आप सुधार नहीं करोगे तो हम माली हिमायत (वित्तीय समर्थन) देना बंद कर देंगे. उस वक्त मनमोहन सिंह जी की सरकार की हिमायत सपा, RJD, CPI समेत कई पार्टियां कर रही थीं.


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कानून मंत्री ने कहा कि शरद पवार जब मुल्क के जराअत (कृषि) और उपभोक्ता मामलों के वज़ीर थे तो उन्होंने मुल्क के सारे चीफ मिनिस्टर्स को खत लिखा था. जिसमे उन्होंने लिखा था कि मंडी एक्ट में बदलाव जरूरी है, प्राइवेट सेक्टर का आना जरूरी है. किसानों को कहीं भी अपनी फसल बेचने का मौका मिलना चाहिए.


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