Loni Fire News: पुलिस ने बताया कि बुधवार देर रात गाजियाबाद के लोनी के बेहटा हाजीपुर इलाके में एक तीन मंजिला मकान में आग लग गई. इस आग में दो महिलाएं, एक लड़की (सात साल) और एक सात महीने के बच्चे समेत पांच लोगों की जलकर मौत हो गई. अधिकारियों ने बताया कि आग लगने का कारण शॉर्ट सर्किट रहा होगा.


पुलिस ने कहा?


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गाजियाबाद के एडिशनल पुलिस कमिश्नर दिनेश कुमार पी ने बताया, "हमें देर रात बेहटा हाजीपुर से सूचना मिली कि एक घर में कई लोग फंसे हुए हैं, जो आग की चपेट में आ गया है. स्थानीय पुलिस और अग्निशमन विभाग मौके पर पहुंचे. शुरुआत में एक महिला और एक बच्चे को घायल अवस्था में बचाया गया और उन्हें इलाज के लिए अस्पताल भेजा गया. आग इमारत के ग्राउंड फ्लोर से शुरू हुई और लोग पहली और दूसरी मंजिल पर फंस गए. पांच लाशें बरामद की गई हैं, जिनमें दो जवान और तीन बच्चे शामिल हैं."


मरने वालों की पहचान


अधिकारी ने बताया कि स्थानीय लोगों ने पुलिस को बताया कि घर के अंदर रखे थर्मोकोल/फोम रखा हुआ था. यही वजह रही है कि आग तेजी से फैली. डीसीपी (ग्रामीण) विवेक चंद्र यादव ने बाद में बताया कि दो घायलों की पहचान 26 साल की उस्मा और एक नाबालिग लड़के के तौर पर हुई है.


कौन हैं मरने वाले लोग?


पुलिस ने मृतकों की पहचान 26 साल की नाज़रा और उनकी बेटी इकरा (7), शैफुल रहमान (35), मोहम्मद फैज (सात महीने) और परवीन (28) के तौर पर की है. डीसीपी ने कहा,"वे सभी एक ही परिवार के हैं. ग्राउंड-फ़्लोर पर रखी गई सामग्री थर्मोकोल-कप जैसी थी. हमने अग्निशमन विभाग से सामग्री का पता लगाने और यह भी पता लगाने को कहा है कि घर में कोई व्यावसायिक गतिविधि चल रही थी या नहीं."


फायर डिपार्टमेंट ने क्या कहा?


फायर डिपार्टमेंट ने कहा,"अग्निशमन विभाग के अधिकारियों ने बताया कि उन्हें रात करीब 9:15 बजे सूचना मिली और चार दमकल गाड़ियां घटनास्थल पर भेजी गईं. उन्होंने बताया कि आवासीय भवन में भूतल तथा दो अन्य मंजिलें शामिल थीं.


मुख्य अग्निशमन अधिकारी (सीएफओ) राहुल पाल ने कहा, "शुरू में दो दमकल गाड़ियों को काम पर लगाया गया और बाद में दो और भेजी गईं. घर तक पहुंचने के लिए संकरी गली से गुजरना पड़ता था, और दमकल गाड़ियां अंदर नहीं जा सकती थीं. हमें आग लगी इमारत तक पानी पहुंचाने के लिए करीब 400-500 मीटर लंबी नली-पाइप को जोड़ना पड़ा." 


सीएफओ ने कहा,"आग ग्राउंड फ्लोर पर लगी थी, जहां फोम का सामान रखा हुआ था और जल्द ही आग पहली और दूसरी मंजिल तक फैल गई. वहां कोई खिड़कियां नहीं थीं और हमें घने धुएं और भड़की हुई लपटों के बीच इमारत में घुसने के लिए कई जगहों पर दीवारें तोड़नी पड़ीं. पहली मंजिल से दो घायल व्यक्तियों को ढूंढकर निकाला गया."