नई दिल्ली/Ashif Aqbal: लोक जनशक्ति पार्टी (LJP) में मचे हंगामे के बीच पशुपति पारस (Pashupati Paras) गुट और चिराग पासवान (Chirag Paswan) गुट के बीच पशुपति पारस गुट के तमाम नेताओं ने डायरेक्टली कहें या इनडायरेक्टली एक शख्स पर सबसे ज्यादा निशाना साधा वह चिराग पासवान के सबसे करीबी सौरभ पांडे.


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सौरभ पांडे लगातार बहुत ही खामोश से अपने काम में लगे हुए हैं लेकिन बार-बार उनसे सवाल पूछने पर या उनके पर सवाल उठने पर आज उन्होंने अपनी चुप्पी तोड़ते हुए कहा कि मेरी खामोशी को मेरी कमजोरी ना समझे, अगर मैं पशुपति पारस गुट के नेताओं को लेकर बोलने पर आया तो बड़े-बड़े राज से पर्दे उठ जाएंगे और कई चेहरे झुलस जाएंगे.


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सौरभ पांडे ने कहा कि इसलिए मैं सिर्फ रामविलास पासवान (Ram Vilas Paswan) के सपनों को साकार करने के लिए ईमानदारी से मेहनत कर रहा हूं. उन्होंने कहा कि जो रामविलास पासवान ने मुझ पर जो जिम्मेदारी सौंपी है मैं उसे पूरा कर रहा हूं. उन्होंने कहा कि मेरे पास इस बात का सुबूत है कि मैं राम विलास पासवान के सपनों को साकार कर रहा हूं. उन्होंने इस मौके पर राम विलास पासवान का एक खत भी शेयर किया है. 


पढ़ें खत



कौन हैं सौरभ पांडे
दरअसल सौरभ पांडे वो शख्स हैं जो 5 साल तक पर्दे के पीछे से अपना किरदार का अदा कर रहे हैं. लोजपा के तामाम छोटे बड़े फ़ैसले में अपना अहम किरदार अदा वाले शख्स सौरभ पांडे ही हैं. सौरभ ने मुंबई यूनिवर्सिटी से लॉ की पढ़ाई करने के बाद वकालत भी शुरु कर दी थी लेकिन आचानक वह चिराग़ पासवान से प्रभावित होकर लोजपा पार्टी में पहुंच गए. पढ़ाई के बाद कारोबार संभालते थे लेकिन अब वो लोजपा में पर्दे के पीछे से अपना किरदार अदा कर रहे हैं. सौरभ पांडे के पिता वाराणसी से एमएलसी रह चुके हैं और सौरभ ने अपने पिता से ही सियासत सीखी है.