इस रेल लिंक को भारत और बांग्लादेश के बीच पांचवें रेल लिंक के रूप में फिर से शुरू किया गया है. दोनों सरकारों ने अपने रेल संपर्क और द्विपक्षीय व्यापार को मजबूत करने के लिए इस रेल लिंक को बहाल किया है.
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जलपाईगुड़ीः भारत और बांग्लादेश के बीच हल्दीबाड़ी-चिलाहाटी रेलवे मार्ग पर वाणिज्यिक सेवाएं इतवार को एक मालगाड़ी के पड़ोसी देश की यात्रा के साथ बहाल हो गई. यह रेल मार्ग 56 साल से ज्यादा समय से बंद पड़ा था. इस रेल मार्ग का पुनरुद्धार किए जाने के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और उनकी बांग्लादेशी समकक्ष शेख हसीना ने 17 दिसंबर, 2020 को इसका उद्घाटन किया था. हालांकि, महामारी की वजह से उसके बाद आधिकारिक तौर पर मार्ग पर कोई ट्रेन नहीं चली थी. पत्थर के चिप्स से लदी 58 डिब्बों वाली मालगाड़ी इतवार की सुबह साढ़े दस बजे अलीपुरद्वार के डिमडिमा स्टेशन से निकली. यह हल्दीबाड़ी के रास्ते बांग्लादेश के चिलाहाटी जाएगी. पूर्वोत्तर सीमांत रेलवे (एनएफआर) के तर्जुमान ने शनिचर को कहा था, ’’हल्दीबाड़ी और चिलाहाटी के बीच पहली व्यावसायिक सेवा इतवार को शुरू होगी. इस रेल लिंक को भारत और बांग्लादेश के बीच पांचवें रेल लिंक के रूप में फिर से शुरू किया गया है. दोनों सरकारों ने अपने रेल संपर्क और द्विपक्षीय व्यापार को मजबूत करने के लिए इस रेल लिंक को बहाल करने का काम शुरू किया है.
1st freight train started today through the Haldibari-Chilahati rail route, as part of India-Bangladesh connectivity: Arindam Bagchi, Spokesperson, Ministry of External Affairs pic.twitter.com/78uuYhZ1B4
— ANI (@ANI) August 1, 2021
भारत-पाकिस्तान युद्ध के बाद बंद हुआ था ये रेल लाइन
1947 में विभाजन के बाद से लेकर 1965 तक दोनों देशों के बीच इस रेल मार्ग पर ट्रेनें चलती थी, लेकिन भारत-पाकिस्तान युद्ध के बाद, दोनों देशों के बीच रेल सेवा बंद हो गई थी. उस वक्त दोनों देशों के बीच 7 रेल लिंक चालू थे. वर्तमान में, बांग्लादेश और भारत के बीच चार परिचालन रेल लिंक हैं- बेनापोल (बांग्लादेश)-पेट्रापोल (भारत), दर्शन (बांग्लादेश)-गेडे (भारत), रोहनपुर (बांग्लादेश)-सिंहाबाद (भारत), और बिरोल (बांग्लादेश)- राधिकापुर (भारत). अभी पांचवे की शुरूआत फिर से कर दी गई है.
इन वस्तुओं का निर्यात होगा इस मार्ग से
इस रेल मार्ग से भारत से बांग्लादेश को जिन वस्तुओं का निर्यात किया जा सकता है उनमें पत्थर और पत्थर, खाद्यान्न, ताजे फल, रासायनिक उर्वरक, प्याज, मिर्च, लहसुन, अदरक, फ्लाई ऐश, मिट्टी, चूना पत्थर और लकड़ी शामिल हैं. भारतीय रेलवे ने पूर्वोत्तर सीमांत रेलवे के दमदीम स्टेशन से पत्थरों से लदी पहली मालगाड़ी को बांग्लादेश के लिए रवाना किया.
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