देश में मॉनसून सामान्य तौर पर 1 जून से केरल पहुंचता है. यहीं से मॉनसून की देश में शुरुआत होती है. लेकिन, भारतीय मौसम विभाग (IMD) के मुताबिक, मंगलवार को मॉनसून ने केरल में दस्तक दे दी है.
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नई दिल्ली: देश में मॉनसून सामान्य तौर पर 1 जून से केरल पहुंचता है. यहीं से मॉनसून की देश में शुरुआत होती है. लेकिन, भारतीय मौसम विभाग (IMD) के मुताबिक, मंगलवार को मॉनसून ने केरल में दस्तक दे दी है. मौसम विभाग के मुताबिक, यह सामान्य से 3 दिन पहले है. आमतौर पर पूरे देश में मॉनसून सक्रिय होने के लिए करीब 1 महीने से ज्यादा का समय लगता है. लेकिन, इस बार मॉनसून सामान्य से तेज गति से चल रहा है. मौसम विभाग पहले ही अनुमान जता चुका है कि इस साल देश में अच्छी बारिश होगी. आइये हम आपको बताते हैं तारीख दर तारीख मॉनसून कहां पहुंचेगा.
कब कहां पहुंचेगा मॉनसून?
मौसम विभाग ने मॉनसून की शुरुआत में पहुंचने की तिथियां जारी की हैं. ऐसे में मौसम विभाग के अनुसार, केरल में मानसून दस्तक दे चुका है. यह 3 दिन की तेजी के साथ चल रहा है. 1 जून तक कर्नाटक के पूरे भाग में सक्रिय हो जाएगा. वहीं, दक्षिण भारत के प्रदेश हैदराबाद और पूर्वोत्तर के सिक्किम तक मॉनसून 5 जून तक सक्रिय होगा. वहीं, महाराष्ट्र, छत्तीसगढ़, ओडिशा, पश्चिम बंगाल और बिहार में 10 जून तक मॉनसून दस्तक देगा. इसके अलावा 15 जून तक गुजरात, मध्य प्रदेश और पूर्वी उत्तर प्रदेश में मानसून पहुंचने की उम्मीद है. हालांकि, मॉनसून के तेज चलने के कारण और स्थितियां सामान्य रहने पर मॉनसून हर जगह तीन दिन पहले पहुंच सकता है.
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दिल्ली में 27 जून को आ सकता मॉनसून
देश की राष्ट्रीय राजधानी नई दिल्ली में आमतौर पर बारिश जून के अंत तक होती है. साथ ही मॉनसून पूरी तरह 29 जून तक पहुंचता है. लेकिन, इस बार यह 27 जून को दस्तक दे सकता है. साथ ही उससे पहले प्री-मॉनसून की बारिश भी अच्छी होने का अनुमान है. इसके अलावा राजस्थान, हिमाचल प्रदेश और जम्मू-कश्मीर में भी मानसून 29 जून तक दस्तक दे सकता है. आमतौर पर यहां जम्मू-कश्मीर तक मॉनसून 1 जुलाई तक पहुंचता है. वहीं, हरियाणा और पंजाब राज्य में 1 जुलाई तक मॉनसून के पहुंचने का अनुमान है.
अगला अनुमान कब?
मौसम विभाग के मुताबिक, इस साल देश के हर इलाके में बेहतर बारिश होने का अनुमान जारी किया है. वहीं, कम बारिश होने की संभावना बेहद कम है. हालांकि, मानसून की चाल पर मौसम विभाग का अगला अनुमान 10 जून को जारी कर सकता है. पिछले साल अप्रैल में आईएमडी ने देश में 96 फीसदी बारिश का अनुमान जताया था.
अच्छी होगी बारिश
मौसम विभाग के मुताबिक, मॉनसून को प्रभावित करने वाला प्रशांत महासागर की सतह का तापमान अभी तक मॉनसून के अनुकूल है और यह वर्ष ला-नीना वर्ष रहने का अनुमान है. ला-नीना वर्ष होने की स्थिति में मॉनसून सीजन के दौरान सामान्य तौर पर अधिक बरसात होती है, वहीं अल-नीनो वर्ष होने पर मॉनसून सीजन के दौरान बारिश कम होने की आशंका बढ़ जाती है. यह वर्ष क्योंकि ला-नीना वर्ष रहने का अनुमान है ऐसे में मॉनसून सीजन के दौरान अच्छी बरसात होने का अनुमान जताया है.
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अल-नीनो का खतरा नहीं
मौसम विभाग के मुताबिक, प्रशांत महासागर में विषुवत रेखा के पास समुद्र के तापमान में कमी बनी हुई है. जून तक इसमें बदलाव की उम्मीदें नगण्य हैं. ऐसे में यहां लॉ नीना इफेक्ट पैदा होता है जिससे विषुवत रेखा के पास चलने वाली हवाएं ट्रेंड विंग के दबाव में जल्दी आती हैं. यह अच्छे मॉनसून का प्रतीक है.
उत्तर भारत को सताएगी गर्मी
आईएमडी प्रमुख डी शिवानंद पई के मुताबिक, आने वाले दिनों में उत्तर भारत में आसमान पूरी तरह साफ रहेगा. साथ ही ऐंटी-साइक्लोनिक हवाओं से तापमान ज्यादा रहने का अनुमान है. सामान्य से ज्यादा तापमान ग्लोबल वॉर्मिंग का संकेत है. पई के मुताबिक, उत्तर और पूर्वी भारत में अधिकतम तापमान सामान्य के करीब रह सकता है, जो आसमान में बादल और क्षेत्र में प्री-मॉनसून बारिश का संकेत है.