Adani Group: शेयर मार्केट में अडानी ग्रुप के शेयरों में गिरावट देखी गई है. इस गिरावट के पीछे हिंडनबर्ग रिसर्च की रिपोर्ट मानी जा रही है. वहीं अब सूचकांक प्रदाता MSCI ने शनिवार को कहा कि अडानी ग्रुप की कंपनियों के शेयर भाव को गलत तरीके से बढ़ाने का आरोप लगाने वाली हिंडनबर्ग रिसर्च की रिपोर्ट पर उसने समूह की प्रतिभूतियों से जानकारी मांगी है. एमएससीआई ने कहा कि वह अडानी समूह और उसकी कंपनियों के कामकाजी तौरतरीकों के बारे में आई इस रिपोर्ट से अवगत है.


COMMERCIAL BREAK
SCROLL TO CONTINUE READING

अडानी ग्रुप
एक बयान में कहा गया, "एमएससीआई इस स्थिति के बारे में सार्वजनिक रूप से उपलब्ध सूचना पर करीबी नजर रखे हुए है. एमएससीआई वैश्विक निवेश-योग्य बाजार सूचकांक के लिए प्रासंगिक प्रतिभूतियों की योग्यता को प्रभावित कर सकने वाले कारकों और मौजूदा हालात पर निगाह बनाए हुए है." उसने कहा कि इन मुद्दों पर बाजार प्रतिभागियों से समय पर फीडबैक आने का वह स्वागत करती है. वर्तमान में अडानी समूह से जुड़ी आठ कंपनियां एमएससीआई स्टैंडर्ड सूचकांक का हिस्सा हैं.


अडानी शेयर प्राइज
बाजार जानकारों का मानना है कि कोई भी प्रतिकूल जानकारी मिलने पर एमएससीआई सूचकांक में अडानी समूह की कंपनियों के वेटेज को कम किया जा सकता है या फिर उसे सूचकांक से बाहर भी किया जा सकता है. अगर इस तरह का कोई कदम उठाया जाता है तो फिर अडानी समूह की कंपनियों के शेयरों में बिकवाली और तेज हो सकती है.


शेयर बाजार
हिंडनबर्ग रिसर्च की रिपोर्ट आने के बाद से दो कारोबारी दिनों में ही अडानी समूह के बाजार पूंजीकरण में 4.17 लाख करोड़ रुपये की भारी गिरावट आ चुकी है. हालांकि जानकारों को लगता है कि अडानी समूह से फीडबैक आने और उसकी समीक्षा की प्रक्रिया पूरी न होने तक एमएससीआई कोई भी कदम नहीं उठाएगी.


हिंडनबर्ग रिसर्च
बता दें कि अमेरिका की एक्टिविस्ट निवेश शोध फर्म हिंडनबर्ग रिसर्च ने मंगलवार को जारी एक रिपोर्ट में कहा था कि अडाणी ग्रुप की कंपनियों ने शेयरों के भाव बढ़ाने के लिए गलत तरीके अपनाए हैं. इसके अलावा समूह की कंपनियों पर अकाउंटिंग में धोखाधड़ी करने के आरोप भी लगाए गए हैं. यह रिपोर्ट अडानी समूह की प्रतिनिधि कंपनी अडानी एंटरप्राइजेज का FPO आने के ऐन पहले आई है.


एफपीओ
कंपनी का एफपीओ के जरिए 20,000 करोड़ रुपये जुटाने का लक्ष्य है लेकिन शुक्रवार को निर्गम खुलने पर भारी बिकवाली होने से कंपनी के शेयर काफी नीचे चले गए. अडाणी समूह ने इस रिपोर्ट को खारिज करते हुए कहा है कि इसे गलत इरादे से उसके एफपीओ को नुकसान पहुंचाने के मकसद से जारी किया गया है. इसके साथ ही उसने कानूनी विकल्प आजमाने पर विचार करने की भी बात कही है. (इनपुट: भाषा)


भारत की पहली पसंद ZeeHindi.com - अब किसी और की ज़रूरत नहीं