ITR: सरकार का ऐलान, इनकम टैक्स भरने वाले हो जाएं सावधान! देना पड़ सकता है 5 हजार रुपये का जुर्माना
ITR Form: टैक्सपेयर्स को वित्त वर्ष 2022-23 के लिए 31 जुलाई तक अपना आयकर रिटर्न दाखिल करना होगा. फरवरी में केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड (CBDT) ने इस वित्तीय वर्ष के लिए ITR फॉर्म जारी किए. इस वित्त वर्ष के खत्म होते ही टैक्सपेयर्स आईटीआर फाइल कर सकते हैं. विभिन्न व्यक्तियों, व्यवसायों और कंपनियों के लिए सात प्रकार के ITR फॉर्म हैं.
Income Tax Return: 1 अप्रैल 2023 से नए वित्त वर्ष की शुरुआत हो रही है. इसके साथ ही वित्त वर्ष 2022-23 के लिए इनकम टैक्स रिटर्न भरने की प्रक्रिया की भी शुरुआत हो जाएगी. जिन लोगों की भी इनकम टैक्सेबल है, उन लोगों को इनकम टैक्स रिटर्न दाखिल करना होता है. वर्तमान में व्यक्तिगत इनकम टैक्स रिटर्न दाखिल करने के लिए पुराना टैक्स रिजीम और नया टैक्स रिजीम मौजूद हैं. इनमें टैक्स स्लैब अलग-अलग है.
आईटीआर फॉर्म
टैक्सपेयर्स को वित्त वर्ष 2022-23 के लिए 31 जुलाई तक अपना आयकर रिटर्न दाखिल करना होगा. फरवरी में केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड (CBDT) ने इस वित्तीय वर्ष के लिए ITR फॉर्म जारी किए. इस वित्त वर्ष के खत्म होते ही टैक्सपेयर्स आईटीआर फाइल कर सकते हैं. विभिन्न व्यक्तियों, व्यवसायों और कंपनियों के लिए सात प्रकार के ITR फॉर्म हैं, इनसमें ITR 1 (सहज), ITR 2, ITR 3, ITR 4, ITR 5, ITR 6 और ITR 7 शामिल है.
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देना पड़ सकता है जुर्माना
अलग-अलग जरूरतों के हिसाब से अलग-अलग आईटीआर फॉर्म दाखिल किया जाता है. वहीं ITR-1 और ITR-4 सरल रूप हैं जो बड़ी संख्या में छोटे और मध्यम करदाताओं को पूरा करते हैं. हालांकि इनकम टैक्स दाखिल करने वाले लोगों को एक अहम बात का ध्यान रखना चाहिए, नहीं तो 5 हजार रुपये का जु्र्माना चुकाना पड़ सकता है.
इनकम टैक्स रिटर्न
दरअसल, वित्त वर्ष 2022-23 के लिए आईटीआर दाखिल करने की आखिरी तारीख 31 जुलाई है. ऐसे में अगर कोई 31 जुलाई तक इनकम टैक्स रिटर्न फाइल नहीं कर पाता है तो उसके पास 31 दिसंबर तक का समय होगा कि वह लेट रिटर्न फाइल करे और पेनल्टी का भुगातन करे. पेनल्टी के रूप में 5,000 रुपये चुकाने होंगे.
ये है प्रावधान
आयकर विभाग की वेबसाइट के अनुसार, देर से आईटीआर दाखिल करने के लिए जुर्माना 5,000 रुपये है, इसके बाद भी अगर कोई आईटीआर तय तारीख तक नहीं भरता है तो इसके बाद फाइलिंग के लिए राशि दोगुनी हो सकती है. इसके अलावा कुछ मामलों में सजा का भी प्रावधान है.
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