तस्वीर देखने से ऐसा लग रहा था कि गाड़ी को टोचन करने के लिए पुलिस डिपार्टमेंट की तरफ से पहले से ही खास व्यवस्था कर रखी गई है.
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पटना : बिहार पुलिस के आधुनिकीकरण की बात सरकार बार-बार कहती है. सीएम नीतीश कुमार भी विधानसभा में खुद इस बात का जिक्र कर चुके हैं. लेकिन आए दिन ऐसी तस्वीरें सामने आती हैं. जो इन दावों की पोल खोल देती हैं.
सोमवार को पटना के सबसे व्यस्त मानी जाने वाली सड़क बेली रोड पर पटना पुलिस के आधुनिकीकरण की पोल खुलती नजर आयी. पुलिस की एक जीप, दूसरी जीप को टोचन कर ले जाती दिखी. यह तस्वीर तो सामान्य थी, आधुनीकिकरण की पोल खोलने के लिए काफी थी.
तस्वीर देखने से ऐसा लग रहा था कि गाड़ी को टोचन करने के लिए पुलिस डिपार्टमेंट की तरफ से पहले से ही खास व्यवस्था कर रखी गई है. गाड़ी को टोचन करने के लिए एक लोहे की चेन का इस्तेमाल किया गया था. जो बेहतर तरीके से दूसरी गाड़ी के साथ नट वोल्ट के जरिये कसा हुआ था. आमतौर पर ऐसे हालात में लोग तात्कालिक व्यवस्था से ही गाड़ी टोचन करवाते हैं. लेकिन यहां पुलिस डिपार्टमेंट को शायद यह पता है कि उनकी ज्यादातर गाडियों की स्थिती ठीक नहीं है. ऐसे में टो करने की नौबत कभी भी आ सकती है.
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अपराधियों की चांदी, वीआईपी सुरक्षा पर भी संकट
अब जरा अंदाजा लगाइये कि क्या ऐसी गाड़ियों के भरोसे ही पुलिस डिपार्टमेंट अपराधियों से लोहा लेने की तैयारी में है. क्या पुलिस की ऐसी ही गाड़ियां वीआईपी लोगों को स्कॉर्ट करने के लिए लगायी जाती है. जब पुलिस की गाड़ी ही पुलिस को धोखा दे जाएगी तो सुरक्षा व्यवस्था और अपराधियों को चुनौती कैसे मिलेगी.
गार्ड ऑफ ऑनर देने में पुलिस की गोलीयों ने दिया था धोखा
यह कोई इकलौती तस्वीर नहीं है. इससे पहले पूर्व सीएम जगन्नाथ मिश्रा को गार्ड ऑफ ऑनर देने के दौरान भी कुछ ऐसा ही हुआ था. पुलिस के 22 रायफलों से एक भी गोली नहीं चली थी. जांच में पता चला कि गोलियां एक्सपायर हो चुकी थीं. गार्ड आफ आर्नर में 25 साल पुरानी सेरिमोनियल गोलियों का इस्तेमाल किया जा रहा था. जांच के बाद जोन के डीआईजी ने आर्मोरर पर कार्रवाई करते हुए उसे सस्पेंड कर दिया था.
बेउर जेल के गेट को खोलने के लिए बांस का होता है इस्तेमाल
सिस्टम में लापरवाही की कुछ ऐसी ही तस्वीर बेउर जेल से निकलकर सामने आयी. जहां का मेन गेट पुलिसकर्मी बांस के सहारे खोलते और बंद करते नजर आए. बेउर जेल में राज्य के कई कुख्यात अपराधी और आतंकी बंद हैं. ऐसे में जेल की ऐसी व्यवस्था सिस्टम पर सवाल तो खड़ा करती ही है.
पुलिस सम्मान समारोह के दौरान राज्य के एडिश्नल चीफ सेक्रेटरी आमिर सुब्हानी का दावा था कि राज्य पुलिस आधुनीकिकरण की दिशा में तेजी से आगे बढ़ रही है. यही वजह है कि पुलिस को बड़े पैमाने पर सफलता भी मिल रही है और बड़ा सा बड़ा अपराधी भी पकड़ा जा रहा है.