बता दें कि कैंटीन में गंदे नाले का पानी बह रहा है. साथ ही गंदे पानी में ही धोए बर्तन में एमएलसी को खाना परोसा जा रहा है. कैंटीन में साफ-सफाई का बिल्कुल भी ध्यान नही रखा जा रहा.
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पटना: बिहार विधानमंडल का उच्च सदन विधान परिषद माना जाता है. एमएलसी यहां के सदस्य होते हैं. बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार (Nitish Kumar) उपमुख्यमंत्री सुशील मोदी (Sushil Modi) जैसे सरीखे नेता इसके सदस्य हैं. लेकिन यहां के सदस्यों को जो सुविधा दी जा रही है, उसे किसी भी श्रेणी में नही रखा जा सकता.
दरअसल, हम बात कर रहे हैं विधान परिषद के सदस्यों को खाने-पीने की मिलने वाली सुविधा की. जिस हालात में यहां खाना बनाया जा रहा वो जानवरों के खाने लायक भी नही है. जानकारी के अभाव में सभी एमएलसी यहां की बने कैंटीन में खाना खा रहे हैं. बता दें कि कैंटीन में गंदे नाले का पानी बह रहा है. साथ ही गंदे पानी में ही धोए बर्तन में एमएलसी को खाना परोसा जा रहा है.
कैंटीन में साफ-सफाई का बिल्कुल भी ध्यान नही रखा जा रहा. इतना ही नहीं, फर्श पर खाने का सामना कैंटीन के कर्मचारी रखते हैं. वहीं, कैंटीन के मैनेजर ने कमी मानने से इनकार किया है. इधर, बिहार सरकार में मंत्री प्रेम कुमार ने कहा कि कैंटीन के मैनेजर पर करवाई होगी. उन्होंने कहा कि अगर तय मानक के खिलाफ कैंटीन में खाना बन रहा तो वो गलत है. किसी भी हालत में लापरवाही बर्दाश्त नही की जाएगी.
इस मामले पर कांग्रेस अध्यक्ष मदन मोहन ने कहा कि मुझे इसकी जानकारी नहीं है. अगर ऐसा है तो हम परिषद के सभापति को इसकी जानकारी देंगे. जबकि विभागीय मंत्री विजय सिन्हा ने कहा कि मामले पर कार्रवाई होगी. हम कैंटीन के लिए अलग व्यवस्था करेंगे. उन्होंने कहा कि विधानसभा की कैंटीन अच्छी बनाई गई है. पहले वहां भी गड़बड़ी की शिकायत आती थी. अब परिषद के भी कैंटीन को ठीक किया जाएगा.