पटना: महिलाओं की सुरक्षा के लिए बिहार में 'निडर नारी' प्रोजेक्ट शुरू किया गया है. यह सुविधा 24 घंटे और मुफ्त में उपलब्ध है. बिहार इस तरह की सुविधा देने वाला देश का तीसरा राज्य बन गया है, इससे पहले हरियाणा और तेलंगाना में यह सेवा दी जा रही है. 5 सितंबर को डीजीपी आलोक राज ने 6 जिलों में इस पायलट प्रोजेक्ट का शुभारंभ किया था. इसके बाद किशनगंज, वैशाली, समस्तीपुर, सीतामढ़ी और अन्य जिलों की महिलाओं ने भी इसका फायदा उठाया है.


COMMERCIAL BREAK
SCROLL TO CONTINUE READING

जानकारी के लिए बता दें कि यह सुविधा महिलाओं को घर से गंतव्य तक सुरक्षित पहुंचाने के लिए है. महिलाएं जब भी कहीं बाहर जाएं, तो बस डायल 112 पर कॉल करें. इसके बाद उन्हें एक सीक्रेट कोड मिलेगा और पुलिस टीम उनके सफर के दौरान हर 10-15 मिनट पर उनकी सुरक्षा की जानकारी लेती रहेगी. अगर महिला किसी परेशानी का सामना करती है या कॉल का जवाब नहीं देती है, तो तुरंत पुलिस की गाड़ी या इमरजेंसी रिस्पॉन्स व्हीकल उनकी मदद के लिए पहुंच जाएगी. इस पूरी प्रक्रिया में महिलाओं को डिजिटली ट्रैक किया जाता है ताकि उनकी सुरक्षा सुनिश्चित की जा सके.


साथ ही पहले डायल 112 की सेवा सिर्फ इमरजेंसी के लिए थी, लेकिन अब इस सेवा का विस्तार महिलाओं की सुरक्षा के लिए किया गया है. जिन महिलाओं के पास स्मार्टफोन नहीं हैं, उन्हें भी पुलिस मोबाइल टावर से ट्रैक करेगी और हर 10-15 मिनट पर उनसे संपर्क करेगी. यह सेवा 15 सितंबर से शुरू की जा रही है, जिसके तहत महिलाएं अब सुरक्षित और निडर होकर सफर कर सकेंगी.


डायल 112 सेवा के काम करने का तरीका यह है कि जैसे ही महिला कॉल करती है, उसका लोकेशन कंट्रोल सेंटर में दिखने लगता है. फिर नजदीकी पुलिस वाहन को सूचना दी जाती है, जो महिला की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए हर 10-15 मिनट पर कॉल करेगी. यदि महिला भटक जाए या किसी तरह की समस्या में फंस जाए और कॉल का जवाब नहीं दे पाए, तो पुलिस तुरंत उसकी लोकेशन के आधार पर उसे ढूंढकर मदद के लिए पहुंच जाएगी. इस नई सेवा से महिलाओं को सुरक्षित सफर का भरोसा मिलेगा और उन्हें किसी भी स्थिति में घबराने की जरूरत नहीं होगी.


ये भी पढ़िए-  IAS संजीव हंस पर गिरी गाज, पीड़ित महिला बोली DNA करवाइए बेटा उन्हीं का निकलेगा, गैंगरेप का लगा आरोप