Greater Noida Crime: फर्जी क्रेडिट कार्ड और लोन दिलाने वाले गैंग का भंडाफोड़, दो शाति गिरफ्तार
Advertisement
trendingNow0/india/delhi-ncr-haryana/delhiharyana2475431

Greater Noida Crime: फर्जी क्रेडिट कार्ड और लोन दिलाने वाले गैंग का भंडाफोड़, दो शाति गिरफ्तार

ग्रेटर नोएडा पुलिस ने फर्जी तरीके से क्रेडिट कार्ड और लोन दिलाने वाले गैंग का खुलासा करते हुए दो आरोपियों को गिरफ्तार किया है. इनके पास से अलग-अलग बैंकों के 206 कार्ड बरामद हुए हैं.

Greater Noida Crime: फर्जी क्रेडिट कार्ड और लोन दिलाने वाले गैंग का भंडाफोड़, दो शाति गिरफ्तार

Greater Noida Crime News: ग्रेटर नोएडा पुलिस ने फर्जी तरीके से क्रेडिट कार्ड और लोन दिलाने वाले गैंग का खुलासा करते हुए दो आरोपियों को गिरफ्तार किया है. इनके पास से अलग-अलग बैंकों के 206 कार्ड बरामद हुए हैं. इसके साथ ही 58 पासबुक, 40 आधार कार्ड, 40 पैन कार्ड, 70 चेक बुक, 6 पेटीएम स्वाइप मशीन, 30 मोबाइल और एक कार भी जब्त की गई है.

इस गैंग के सदस्यों ने अपने ही एक साथी की पैसों के लेनदेन को लेकर कुछ दिन पहले हत्या कर दी थी. पुलिस ने बताया कि गोविंद सिंह, विशाल चंद्र सुमन को गिरफ्तार किया गया है. इन आरोपियों से पता चला है कि 7 अक्टूबर को इनके पार्टनर अमित कुमार सिंह का मर्डर हो गया था. ये हत्या भी इसी गैंग के अन्य सदस्यों ने की थी. जिनको पुलिस गिरफ्तार कर चुकी है.
आरोपियों ने बताया कि ये अपने अन्य साथियों रामानंद शर्मा उर्फ रमेश झा, सचिन तंवर उर्फ संदीप, अनुज यादव उर्फ करन, हिमांशु, ओम प्रकाश उर्फ शिवम उर्फ बैलू और मृतक अमित कुमार सिंह के साथ मिलकर फर्जी तरीके से लोन कराने का काम करते थे.

ये भी पढ़ें: Delhi Crime: सरेआम युवक की पिटाई फिर चाकू गोदकर हत्या, CCTV में वारदात कैद

गैंग आधार कार्ड में रेंट एग्रीमेंट के जरिए फर्जी तरीके से नाम, पता एवं मोबाइल नंबर बदलवाकर अमित कुमार सिंह की कंपनी फैशन प्राइवेट लिमिटेड की पे-स्लिप पर बैंक में खाता खुलवाते थे. उसमें छह से नौ महीने तक सैलरी के नाम पर मोटी रकम ट्रांसफर की जाती थी. जिसका लोन कराया जाता था, उसके नाम पर एक नया मोबाइल और सिम खरीदा जाता था, इस नंबर को बैंक डिटेल में अपडेट कराया जाता था.

पुलिस ने बताया कि आरोपी मोबाइल और सिम कार्ड अपने पास ही रखते थे. इसके बाद सिविल स्कोर सही होने पर 40 से 50 लाख का लोन और क्रेडिट कार्ड की लिमिट बढ़ाते थे. सारी रकम गैंग के सदस्य खुद एक्सेस करते थे. जिसके नाम पर लोन होता था उसे 40 से 50 हजार रुपये दिए जाते थे. गैंग के सदस्य लोन की दो से तीन ईएमआई जमा करते थे और फिर पता बदल देते थे. इस तरह से गैंग ने लाखों रुपए की धोखाखड़ी की है. पुलिस का कहना है कि एक व्यक्ति का लोन पास होने पर गैंग के सदस्यों को करीब 4 से 5 लाख रुपये मिलते थे. पुलिस इन शातिरों से पूछताछ कर रही है और पूरी जानकारी इकट्ठा कर रही है.