Haryana News: 7 महीने में कार्ड नहीं मिला तो सरकार की योजना का लाभ कैसे मिलेगा, बिजलीकर्मियों ने किया सवाल
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Haryana News: 7 महीने में कार्ड नहीं मिला तो सरकार की योजना का लाभ कैसे मिलेगा, बिजलीकर्मियों ने किया सवाल

Chirayu Yojana Card: हरियाणा बिजली विभाग के कर्मचारियों ने कर्मचारी संघ यूनियन के बेनर तले एक्स ई एन कार्यालय के बाहर धरना प्रदर्शन किया. उन्होंने का कि 7 महीने बीत जाने के बाद भी उनके चिरायु योजना के कार्ड नहीं बने हैं.

Haryana News: 7 महीने में कार्ड नहीं मिला तो सरकार की योजना का लाभ कैसे मिलेगा, बिजलीकर्मियों ने किया सवाल

Nuh News: नूंह में बिजली विभाग के कर्मचारियों ने अपनी मांगों को लेकर सर्व कर्मचारी संघ यूनियन के बेनर तले एक्स ई एन कार्यालय के बाहर धरना प्रदर्शन कर नारेबाजी की. इस दौरान नूंह बिजली विभाग के डिप्टी सुपरिटेंडेंट राजन वर्मा ने कहा कि एचके आरएन के तहत लगे कर्मचारियों के चिरायु योजना के लिए 15-15 सौ रुपये पिछले दिसंबर माह में काट लिए गए थे. कर्मचारियों को फ्री इलाज कराने के लिए कार्ड बनाने की बात कही गई थी.

क्या है चिरायु योजना
चिरायु योजना के तहत प्रदेश सरकार कमजोर वर्ग के लोगों को निशुल्क चिकित्सा सुविधा प्रदान करती है. इस योजना का विस्तार हाल ही में हरियाणा सरकार ने किया है. जिसके तहत अब 1.80 लाख रुपये से 10 लाख रुपये वार्षिक आय वाले परिवार भी मुफ्त इलाज का लाभ मिल सकता है. 

ज्ञापन सौंपने के बाद भी नहीं हो रही कार्यवाई 
उन्होंने बताया कि लगभग 7 महीने बीत जाने के बाद भी उनके चिरायु योजना के कार्ड नहीं बने हैं, जिसको लेकर उन्होंने आज 2 घंटे का धरना प्रदर्शन किया है. शुक्रवार को एसडीओ की मार्फत सभी कर्मचारियों ने पूरे प्रदेश में एमडी बीएचवीएन के लिए ज्ञापन सौंपा है. इतना ही नहीं उन्होंने कहा कि इससे पहले भी उन्होंने प्रदेश के मुख्यमंत्री, विभाग के मंत्री और एमडी को भी अपनी मांगों को लेकर धरना प्रदर्शन के साथ-साथ पत्र लिखा था, लेकिन अभी तक कोई कार्रवाई नहीं की गई.

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क्या है कर्मचारियों की मांगे 
इतना ही नहीं कर्मचारियों ने कहा कि इसके साथ-साथ उनकी पुरानी मांगे हैं जो काफी समय से चली आ रही हैं. जिन्हें आज तक पूरा नहीं किया गया है. उन्होंने कहा कि बिजली विभाग का कर्मचारी अपनी जान जोखिम में जान डालकर 24 घंटे जनता की सेवा में लगा रहता है, लेकिन सरकार की और से कर्मचारियों को कोई सुविधा नहीं दिया जा रहा है. उन्होंने कहा कि उनकी मांगे हैं कि कच्चे कर्मचारियों को पक्का किया जाए, पुरानी पेंशन बहाल की जाए, रिक्त पदों पर पक्की भर्ती की जाए, इतना ही नहीं उन्होंने कहा कि सरकारी कर्मचारियों का निजीकरण बंद किया जाए. अगर सरकार उनकी मांगों को नहीं मानती है तो वह 30 जुलाई को जिला स्तर पर डीसी को अपनी मांगों को लेकर ज्ञापन सौंपेंगे.

Input- ANIL MOHANIA

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