Haryana News: बीते दिनों खबर आई थी कि हरियाणा के विश्वविद्यालयों की फंड में कटौती की जाएगी. उच्चतर शिक्षा विभाग की ओर से सारे कुलपतियों को इस मामले में दिशा निर्देश दिया गया था. विश्वविद्यालयों को कहा गया था कि वो 5 वर्षों का रोडमैप बनाकर खुद से फंड जुटाने की कड़ी में काम करें. इस मामले में अब खबर आ रही है कि सरकार ने अपने इस फैसले को वापस लेने का निर्णय लिया है. विश्वविद्यालयों को अनुदान बंद करने से संबंधी परिपत्र को सरकार ने वापल लेने का फैसला लिया है. 


COMMERCIAL BREAK
SCROLL TO CONTINUE READING

परिपत्र लिया वापस
हरियाणा के विश्वविद्यालयों को अनुदान देने से संबंधीत परिपत्र सरकार की ओर से जारी किए गए थे. जारी परिपत्र में कहा गया था कि राज्य के विश्वविद्यालय खुद से फंड जुटाने का काम करें. इस मामले में अब उच्चतर शिक्षा विभाग की ओर से सभी विश्वविद्यालयों के वीसी को पत्र लिखा गया था, जिसमें अपने बूते बजट की व्यवस्था करने के बारे में कहा गया था. अब सरकार ने अपने इस फैसले को वापस लेने का निर्णय लिया है. आज शुक्रवार को जारी परिपत्र को वापस ले लिया गया है. 


ये भी पढ़ें: Haryana News: अगले बजट में 1000 करोड़ का प्रावधान, लोन और कई तरह से लोगों की मदद करेगी सरकार


मचा था घमासान
सरकार के इस फैसले के बाद राज्य में काफी हंगामा भी मचा था. विपक्ष ने इस मुद्दे पर सरकार को घेरा था और उनका विरोध किया था. इसके बाद अब जाकर सरकार ने अपने इस फैसले वापस लेने का निर्णय लिया है. बता दें कि पूर्व में जारी परिपत्र में विश्वविद्यालयों को कहा गया था कि वो पांच वर्षों का रोडमैप तैयार कर सरकारी फंड पर आत्मनिर्भरता घटाने और आत्मनिर्भर बनने की दिशा में काम करें. 


स्टेट में 14 राज्य विश्वविद्यालय 
सरकारी विश्वविद्यालयों को सुझाव दिया गया था कि वो सेल्फ फाइनेंस पाठ्यक्रमों की शुरुआत करें. इसके साथ ही विश्वविद्यालयों को कहा गया था कि वो ऑनलाइन शिक्षा पर जोर दें. बता दें कि राज्य में कुल 42 विश्वविद्यालय हैं, जिनमें से 14 राज्य सरकार के अधीन आते हैं. इस सभी विश्वविद्यालयों को अलग-अलग तरीको से खुद से फंड जुटाने का सुझाव दिया गया था.