असफलता और आर्थिक परेशानी से पैदा हुआ मानसिक तनाव चलते हताश एक युवक ने नोएडा के सेक्टर 151 स्थित जेपी अमन सोसाइटी में अपने फ्लैट पर फांसी का फंदा लगाकर आत्महत्या कर लिया. जानकारी मिलने पर थाना नॉलेज पार्क पुलिस टीम ने मौके पर पहुंचकर शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है.
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ग्रेटर नोएडा: असफलता और आर्थिक परेशानी से पैदा हुआ मानसिक तनाव चलते हताश एक युवक ने नोएडा के सेक्टर 151 स्थित जेपी अमन सोसाइटी में अपने फ्लैट पर फांसी का फंदा लगाकर आत्महत्या कर लिया. जानकारी मिलने पर थाना नॉलेज पार्क पुलिस टीम ने मौके पर पहुंचकर शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है. मौके से सुसाइड नोट बरामद हुआ, जिसमें लिखा है मम्मी मुझे माफ कर दो हो सके तो मैं आपका वह बेटा नहीं बन पाया जो आपने सोचा था. पुलिस आत्महत्या के कारणों की जांच कर रही है.
युवाओं की जिंदगी पर इतना भार पड़ रहा है और जिसके चलते वे हताशा में वे आत्मघाती कदम उठा रहे है. नोएडा के सेक्टर 151 स्थित जेपी अमन सोसाइटी में रह रहे 30 साल के प्रशांत उपाध्याय फांसी का फंदा लगाकर आत्महत्या कर ली. ग्रेटर नोएडा ज़ोन के एडिशनल डीसीपी अशोक कुमार ने बताया कि पुलिस को उसके पास से एक चार पेज का सुसाइड नोट मिला है, जिसमें प्रशांत ने असफलता और आर्थिक परेशानियों के कारण आत्महत्या करने की बात कही है, सुसाइड नोट मां को संबोधित करते हुए लिखा है कि मम्मी मुझे माफ कर दो हो सके तो, मैं आपका वह बेटा नहीं बन पाया जो आपने सोचा था. जिस उम्र में मुझे आपकी सेवा करनी थी वह वक्त भी आपने सब कुछ मेरे ऊपर निछावर कर दिया और कुछ नहीं कर सका . अगर भगवान है तो बस यही दुआ है कि मुझ जैसा इंसान दोबारा पैदा ही नहीं हो. मम्मी जब वक्त था तो मैंने कदर नहीं की अब वक्त ही नहीं रहा है.
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सुसाइड नोट में पिता को संबोधित करते हुए लिखा है कि पापा जी मैंने आपसे कभी सीधी बात नहीं की और आज आप से बात कर सकूं इतनी हिम्मत नहीं है .पापा जी टाइम कम पड़ गया मेरे पास, नहीं तो मैं भी यूपीएससी क्लियर करके आपका और मम्मी का सिर गर्व से ऊंचा करता पर अब हिम्मत नहीं रही है. आपको और मम्मी को रोते नहीं देखना चाहता हूं. जिंदगी में बहुत कुछ करना चाहता था पर नहीं कर पाया सॉरी मम्मी. सॉरी पापा. अपनी पत्नी को संबोधित करते हुए लिखा है मेरे हालात हमारे रिश्ते पर भारी पड़ गए. आई एम सॉरी प्लीज माफ कर देना. मैं एक भी प्रॉमिस पूरी नहीं कर पाया. मुझसे बुरा कोई हो ही नहीं सकता मेरा हरदम साथ देने के लिए दिल से शुक्रिया, शायद इसलिए हमारा कोई बच्चा नहीं हुआ क्योंकि अगर हो जाता तो हमारी लाइफ हेल जाती है. मेरे लिए तुम यूपीएससी करो और जो जो लोग मेरी इस हालत के लिए पीछे हैं उन सबको सजा देना. मेरे मम्मी पापा का ख्याल हो सके तो रखना . आई एम सॉरी. एडिशनल डीसीपी ने बताया कि पुलिस मृतक प्रशांत उपाध्याय के शव को कब्जे पुलिस में लेकर पंचायतनामा भरकर पोस्टमार्टम के लिए जिला मोर्चरी में भेज दिया गया है. पोस्टमार्टम के बाद शव परिजनों को सौप दिया जाएगा.