Ram Mandir Udghatan: राम मंदिर के उद्घाटन में हर छोटी से छोटी बात का खास ध्यान रखा जा रहा है. सजावट से लेकर पूजन में उपयोग की जाने वाली चीजें बेहद ही खास हैं और सभी चीजें देश के अलग-अलग जगहों से आ रही हैं. इस दिन रामलला को चढ़ने वाले प्रसाद भी बेहद खास है.
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Ram Mandir Inauguration: 22 जनवरी के दिन अयोघ्या में होने वाले राम मंदिर की प्राण प्रतिष्ठा को लेकर देश भर में उत्साह देखने को मिल रहा है. देश को कोने कोने में इस दिन की तैयारियां हो रही हैं. लोगों में इस दिन को लेकर काफी ज्यादा उत्साह देखने को मिल रहा है. राम मंदिर के उद्घाटन में छोटी से छोटी चीज का ध्यान रखा जा रहा है. वहीं सजावट से लेकर पूजा में उपयोग होने वाली चीजें देश के कोने-कोने से आ रही हैं. जब बात पूजा की आती है तो हम भगवान को चढ़ाने वाले प्रसाद को कैसे भूल सकते हैं. वहीं आपको बता दें कि इस खास दिन भगवान को विशेष भोग भी लगाया जाएगा. ऐसा सुनने में आ रहा है कि राम मंदिर के उद्घाटन के दिन रामलला को बेहद ही खास चावलों का भोग लगाया जाएगा. आज हम आपको इन चवलों की खासियत के बारे में बताएंगे.
कहां से आ रहा चावल
रामलला को भोग लगने वाले चावल की पैदावार बिहार के कैमूर जिले के मोकरी गांव में होती है. वैसे तो ये चावल और भी जगह पर होते हैं. लेकिन यहां के चावल के पैदावार की खासियत ही कुछ अलग है. ये चावल अपनी मनमोहक सुगंध और क्वालिटी के लिए प्रसिद्ध है. लोगों का ऐसा भी कहना है कि जिस खेत में इस चावल को ऊगाया जाता है उस खेत में किसी और फसल की पैदावार नहीं होती है.
ऐसा भी कहा जाता है की इस गांव में कुछ कुएं हैं जिनमें बारिश का पानी पहुंचता है और वो पानी खेतों तक भी जाता है. इसमें हैरान करने वाली बात ये है कि धान की बालियां खेतों में महिनों तक डूबी रहती हैं. लेकिन इसका असर चावल की क्वालिटी पर बिल्कुल नहीं पड़ता है. इस चावल को जो बात खास बनाती है वो यह है कि कैमूर पहाड़ी की जड़ी बूटी के रिसाव का पानी, जो इन चावलों के खेतों में जाता है और इन चावलों में एक अलग सुगंध लाता है. इस चावल को एक अन्य नाम से भी जाना जाता है वो है गोविंद भोग चावल. वहीं कई सालों से इस चावल का भोग रामलला को लगाया जा रहा है.