Loksabha Election 2024: मध्य प्रदेश में कांग्रेस की कहानी फिलहाल चंबल अंचल में उलझी हुई नजर आ रही है. क्योंकि पार्टी चंबल की दोनों महत्वपूर्ण मुरैना और ग्वालियर लोकसभा सीट पर प्रत्याशियों का ऐलान नहीं कर पाई है, जबकि निमाड़ अंचल की खंडवा सीट भी फंसी हुई है. बताया जा रहा है कि अब मामला कांग्रेस के सीनियर नेता राहुल गांधी के पास पहुंचा है, ऐसे में माना जा रहा है कि तीनों सीटों पर राहुल गांधी ही प्रत्याशियों का चयन करेंगे. 


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सीनियर नेताओं के बीच उलझा मामला 


बताया जा रहा है कि मुरैना, ग्वालियर सीट को लेकर कांग्रेस के सीनियर नेताओं के बीच मामला उलझ गया है. पीसीसी चीफ जीतू पटवारी और नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार के बीच मुरैना और ग्वालियर में प्रत्याशी चयन को लेकर सहमति नहीं बन पा रही है. दरअसल, दोनों नेताओं ने अलग-अलग दावेदारों का समर्थन किया है, जिससे मामला फिलहाल फंसा नजर आ रहा है. 


नामांकन से दूरी चर्चा में आई 


खास बात यह कांग्रेस के दोनों दोनों के बीच नाराजगी की बात भी कही जा रही है, क्योंकि नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार दूसरे चरण के नामांकन में किसी भी रैली में नजर नहीं आए थे. बताया जा रहा है कि उमंग ने फिलहाल दिल्ली में डेरा जमा लिया है, जबकि उनका प्रदेश में कई जगहों पर पीसीसी चीफ के साथ दौरा होना था. दूसरे चरण के सभी नामांकनों में जीतू पटवारी ही नजर आए थे. हालांकि उनके साथ प्रदेश कांग्रेस के दूसरे नेता मौजूद रहे थे. 


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मुरैना और ग्वालियर में फंसा है मामला 


सबसे ज्यादा मामला मुरैना लोकसभा सीट पर फंसा है, क्योंकि यहां कांग्रेस के दावेदारों को लेकर जीतू पटवारी और उमंग सिंघार के बीच सहमति नहीं बन पा रही है. पीसीसी चीफ जीतू पटवारी मुरैना में जौरा सीट से कांग्रेस विधायक पंकज उपाध्याय को टिकट दिलाए जाने का समर्थन कर रहे हैं, लेकिन नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार नीटू सिकरवार के नाम पर सहमत बताए जा रहे हैं. इसी तरह ग्वालियर में पूर्व विधायक प्रवीण पाठक का नाम तय माना जा रहा है, लेकिन दिग्विजय और पटवारी खेमा पूर्व सांसद राम सेवक सिंह गुर्जर को टिकट दिलाना चाहते हैं, जिससे यहां भी मामला में अटक गया है. ऐसे में मुरैना और ग्वालियर पर अब तक होल्ड लगा है. 


खंडवा में यादव पर बनेगी सहमति ? 


मुरैना और ग्वालियर के अलावा निमाड़ अंचल की खंडवा सीट पर भी कांग्रेस में सहमति नहीं बन पाई है, दरअसल, यहां पूर्व केंद्रीय मंत्री अरुण यादव ही सबसे बड़े दावेदार माने जा रहे हैं, लेकिन पूर्व सांसद कालीचरण सकरगाए की बहू सुनीता सकरगाए का नाम भी रेस में बना हुआ है, वहीं एक और पूर्व सांसद ताराचंद पटेल की बेटी आरती पटेल का नाम भी चर्चा में शामिल हैं. ऐसे में किस नाम पर सहमति बनेगी इस पर फिलहाल संशय है. माना जा रहा है कि कांग्रेस यहां अरुण यादव को ही टिकट दे सकती है, क्योंकि ज्यादातर समर्थक उनके नाम पर सहमत हो सकते हैं. 


राहुल गांधी करेंगे फैसला 


मुरैना-ग्वालियर और खंडवा सीटों पर प्रत्याशियों के चयन को लेकर उलझे मामले को सुलझाने का काम अब राहुल गांधी कर सकते हैं. बताया जा रहा है कि राहुल गांधी ही अब तीनों सीटों पर प्रत्याशियों को लेकर सहमति बनाएंगे. बता दें कि कांग्रेस अब तक 25 सीटों पर प्रत्याशियों का ऐलान कर चुकी है, जबकि एक सीट खजुराहो समाजवादी पार्टी के लिए छोड़ी गई है. ऐसे में तीन सीटों पर जल्द से जल्द प्रत्याशी घोषित किए जाने की मांग उठने लगी है. 


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