खाद पर फसाद: किसान ने की आत्महत्या, कांग्रेस ने राज्य सरकार को घेरा, मामले को उपचुनाव से जोड़ा
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खाद पर फसाद: किसान ने की आत्महत्या, कांग्रेस ने राज्य सरकार को घेरा, मामले को उपचुनाव से जोड़ा

मध्यप्रदेश (Madhya Pradesh) के अशोकनगर के पिपरोल गांव में एक किसान ने जहरीला पदार्थ खाकर आत्महत्या (Farmer Suicide) कर ली. परिजनों का कहना है कि किसान कई दिनों से खाद के लिए परेशान हो रहा था. बताया जा रहा है कि इसी के बाद उसने आत्महत्या कर ली. मामले पर अब जमकर राजनीति हो रही है.

मामले पर अब जमकर राजनीति हो रही है.

भोपाल: मध्यप्रदेश (Madhya Pradesh) के अशोकनगर के पिपरोल गांव में एक किसान ने जहरीला पदार्थ खाकर आत्महत्या (Farmer Suicide) कर ली. परिजनों का कहना है कि किसान कई दिनों से खाद के लिए परेशान हो रहा था. बताया जा रहा है कि इसी के बाद उसने आत्महत्या कर ली. मामले पर अब जमकर राजनीति हो रही है. खाद की किल्लत को लेकर कांग्रेस (Congress) राज्य सरकार को घेरने का कोई मौका नहीं छोड़ रही है. इस मामले पर दिग्विजय सिंह (Digvijay Singh) ने भी ट्वीट कर शिवराज (Shivraj singh) सरकार से सवाल करे हैं.

धनपाल पुत्र संग्राम सिंह यादव (44) निवासी पिपरोल थाना अपने घर पर ही था, जब उसने जहर खाया. वो खाद न मिलने से परेशान बताया जा रहा है. कई दिनों से खाद वितरण केंद्र के चक्कर लगा रहा था, लेकिन उसे खाद नहीं मिल पा रही थी.  इसी से परेशान हो उसने सल्फास खा ली. उसे जहर खाते देख परिजन तुरंत ईसागढ़ सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र लेकर पहुंचे. हालत गंभीर होने के चलते उसे जिला अस्पताल रैफर कर दिया गया. जिला अस्पताल में डॉक्टरों ने किसान को मृत घोषित कर दिया.

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मामले पर अब जमकर राजनीति हो रही है. दिग्विजय सिंह ने बीजेपी सरकार पर हमला करते हुए कहा ईसागढ़ ज़िला अशोकनगर मध्यप्रदेश में खाद नहीं मिलने पर किसान ने ज़हर खा कर आत्म हत्या की. मामू ने सारा खाद उन क्षेत्रों में भेज दिया जहां उप चुनाव हो रहे हैं. दिग्विजय सिंह ने आगे कहा कि जैसे ही ३० को वोट डल जाएगा, उन क्षेत्रों में खाद मिलना बंद हो दाएगी. जिन्होंने खाद अपने गोदामों में जमा कर ली है लो कालाबाज़ारी करेंगे.

 

वहीं मृतक किसान के भाई पुनीत यादव ने मीडिया को बताया कि जिले भर के किसान खाद की किल्लत से जूझ रहे हैं. खेतों की मिट्टी तेजी से सूखती जा रही है. ऐसे में अगर कुछ दिन और फसल की बुवाई नहीं हुई तो किसानों को काफी नुकसान होगा. इसी बात से चिंतित होकर खाद नहीं मिलने से परेशान होकर मेरे बड़े भाई धनपाल यादव ने आत्महत्या कर ली.

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