डकैती के उद्देश्य से हुई थी शिवसेना नेता की हत्या, ढाबे पर काम करने वालों ने दी थी सुपारी
तेजाजी नगर थाना इलाके के उमरी खेड़ा में ढाबे का संचालन करने वाले रमेश साहू की 2 और 3 सितंबर की दरमियानी रात में गोली मारकर हत्या की गई थी.
इंदौर: बहुचर्चित शिवसेना नेता रमेश साहू हत्याकांड का खुलासा आखिरकार इंदौर पुलिस ने 9वें दिन कर दिया है. शुरुआत में इस मामले को संपत्ति विवाद से जोड़कर देखा जा रहा था, लेकिन यह पूरा मामला डकैती और हत्या का निकला. शिवसेना नेता की हत्या उनके ढाबे पर काम करने वालों ने ही कराई थी.
करीबी निकाला हत्या का मास्टर माइंड
दरअसल, ढाबे पर ही काम करने वाले पप्पू ने डकैती की नियत से प्रेम सिंह चौहान से संपर्क कर साजिश को रचा. प्रेम सिंह ने डकैती को अंजाम देने के लिए धार जिले के कुक्षी के कुख्यात आरोपियों अपने साथ लेकर वारदात की रात में धावा बोला था. ढाबे पर डकैती करने पहुंचे आरोपियों ने सोने और चांदी के आभूषण लूटने के बाद यहां से निकलने की कोशिश की तो इन आरोपियों में से एक विजय नाम के आरोपी के साथ रमेश साहू का संघर्ष हुआ और विजय ने अपने देसी कट्टे से रमेश साहू को गोली मार दी. जिससे रमेश साहू की मौके पर ही मौत हो गई. वारदात में इस्तेमाल की गई बोलेरो गाड़ी और तीन देसी कट्टे बरामद किए गए हैं. पुलिस अधिकारियों के मुताबिक सभी आरोपी धार जिले के कुख्यात बदमाश है. वारदात के बाद सभी फरार हो चुके थे, जिन्हें अलग-अलग जगह से गिरफ्तार किया गया है.
बीते शुक्रवार को गैंगस्टर मांगीलाल ठाकुर के भांजे श्रवण ठाकुर और खंडवा से सोनू नाम के नौकर को पकड़ा था. इसके साथ राहुल परमार और मेहरबान सिंह से भी पूछताछ की गई थी.
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क्या था मामला
तेजाजी नगर थाना इलाके के उमरी खेड़ा में ढाबे का संचालन करने वाले रमेश साहू की 2 और 3 सितंबर की दरमियानी रात में गोली मारकर हत्या की गई थी. वहीं बीच-बचाव करने आई उनकी पत्नी और बेटी को भी आरोपियों ने चोट पहुंचाई थी. जिसमें वो घायल हो गईं थीं. हालांकि घटनास्थल से कोई सामान या पैसा चोरी नहीं किया गया था. आरोपियों ने केवल हत्या की वारदात को ही अंजाम दिया था. जिसके चलते पुलिस घटना के पीछे पुरानी रंजिश की आशंका जता रही थी. मध्य प्रदेश में करीब 10 साल से ज्यादा समय तक रमेश साहू प्रदेश शिवसेना प्रमुख रहे हैं.
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