एक दर्जन से ज्यादा राष्ट्रीय पक्षी मोरों की रहस्यमयी मौत, ग्रामीणों ने इन लोगों पर जताया शक, जानिए
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एक दर्जन से ज्यादा राष्ट्रीय पक्षी मोरों की रहस्यमयी मौत, ग्रामीणों ने इन लोगों पर जताया शक, जानिए

Bhind News: मध्य प्रदेश के भिण्ड जिले में 12 राष्ट्रीय पक्षी मोरों की मौत की खबर से सनसनी फैल गई. गांव वालों ने बाहर से आए मजदूरों पर आरोप लगाया है. वन विभाग जांच में जुट गई है

एक दर्जन से ज्यादा राष्ट्रीय पक्षी मोरों की रहस्यमयी मौत, ग्रामीणों ने इन लोगों पर जताया शक, जानिए

Bhind News: मध्य प्रदेश के भिण्ड जिले से एक सनसनीखेज मामला सामने आया है. जहां जिले में एक दर्जन से ज्यादा राष्ट्रीय पक्षी मोर की मौतों की खबर सामने आ रही है. इस घटना की जानकारी मिलते ही वन विभाग की टीम घटना स्थल पर पहुंची है और डॉक्टर्स को भी पोस्टमार्टम के लिए बुलाया गया है. अब पीएम रिपोर्ट आने के बाद ही मोर की मौतों का राज पता चल पाएगा.

वहीं ग्रामीणों ने शिकार के लिए जहरीला दाना खिलाने का आरोप बाहर से आए कुछ मजदूरों पर लगाया है. बता दें कि बीते कुछे दिनों से एमपी में राष्ट्रीय पक्षी मोरों की मरने की खबर आ रही है. कुछ दिन पहले भी बैतूल जिले से मोर के शव मिलने की खबर सामने आई है. 

सरसों के खेत में हुई घटना
ग्रामीणों ने बताया कि जहां मोरों का शव मिला है, वहां सरसो की फसल काटने बाहर से कुछ मजदूर आए थे. वह पास के स्कूल में रुके हुए थे. ग्रामीणों का कहना हैं कि उन्हीं मजदूरो ने मोरों का शिकार करने के लिए उन्हें जहर खिलाया होगा.  जिसके कारण उनके मुंह से झाग आ रहा है और कुछ मोर तो तड़पते हुए दम तोड़ रहे थे. जिसका वीडियो भी सामने आया है.

सरसों के खेत में मिले 12 मोरों के शव
भिंड के गोरमी थाना क्षेत्र के हरीक्षा गांव में सरसों के खेत में ग्रामीणों को एक साथ 12 मरे हुए मोर मिले और कुछ तड़पते हुए मोरों को देखकर लोग हैरान रह गए. खबर वन विभग तक पहुंची तो वह तुरंत मौके पर पहुंची है. जिसने सभी मोरों को पीएम रिपोर्ट के लिए भेजा है.

कार्रवाई की जाएगी
इस पूरे मामले को लेकर जिला वन अधिकारी मोहम्मद माज़ का कहना हैं कि उन्हें भी हरीक्षा गांव में राष्ट्रीय पक्षी मोरों की मौत की जानकारी मिली थी. जिस पर वन विभाग को भेजा गया है. साथ ही एक मेडिकल स्टाफ की टीम भी बुलाई गई है. जिससे पोस्टमार्टम किया जा सके और मोरों की मौत का कारण पता चल सके. 

वन अधिकारी मोहम्मद माज़ ने कहा कि  केस दर्ज कर जो भी अपराधी हैं, उस पर आगे की कार्रवाई की जाएगी. वहीं जानकारी के लिए आपको बता दें कि वन्य जीव संरक्षण कानून के तहत मोर का शिकार करने पर तीन से सात साल की सजा का प्रावधान है.

रिपोर्ट- प्रदीप मिश्रा

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