किशनगढ़ नगर परिषद में पिछले 25 सालों से मकानों के पट्टो के लिए परेशान होते नागरिकों का आखिरकार मंगलवार को सब्र टूट गया. दोपहर को शुरू हुआ धरना-प्रदर्शन देर रात को भी जारी रहा. नगर परिषद के बाहर टेंट लगाकर वाशिंदों ने मांगें नहीं मानी जाने से आहत अब नगर परिषद की चौखट पर अपना मोर्चा खोल दिया.
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Kishangarh: प्रदेश में एक तरफ गहलोत सरकार आमजन को राहत देने के लिए पट्टों से वंचित लोगों के लिए प्रशासन शहरों के संग अभियान चलाकर राहत देने की कोशिश कर रही है. इसको लेकर जिले के तमाम अधिकारी कैपों का निरीक्षण कर अभियान को सफल बनाने में जुटे हैं.
वहीं, दूसरी ओर किशनगढ़ नगर परिषद में पिछले 25 सालों से मकानों के पट्टो के लिए परेशान होते नागरिकों का आखिरकार मंगलवार को सब्र टूट गया. दोपहर को शुरू हुआ धरना-प्रदर्शन देर रात को भी जारी रहा. नगर परिषद के बाहर टेंट लगाकर वाशिंदों ने मांगें नहीं मानी जाने से आहत अब नगर परिषद की चौखट पर अपना मोर्चा खोल दिया.
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नागरिकों का आरोप है कि पूर्व में भी कई महीनों पहले विधायक सुरेश टाक ने 15 दिन का आश्वासन देकर उनके विरोध को शांत करवाया था लेकिन लंबा समय बीत जाने के बाद भी इनकी कॉलोनी का जोनल प्लान में ले आउट पास नहीं हो पाया. इन सब के बीच नागरिकों के धरना प्रदर्शन स्थल पर पहुंचे नगर परिषद के आयुक्त जोधाराम विश्नोई ने समझाइस के प्रयास किए लेकिन बात नहीं बन पाई. बहरहाल नागरिकों ने चेतावनी दी कि जल्द ही नगर परिषद के बाहर जारी धरना प्रदर्शन भूख हड़ताल में बदल जाएगी.
जानकारी के अनुसार, शहर के वार्ड संख्या एक और चार से जुड़ी रामदेव कॉलोनी के बाशिन्दे मंगलवार शाम पट्टे वितरित करने की मांग को लेकर नगर परिषद के बाहर अनशन पर बैठ गए. कॉलोनी वासियों का कहना है कि बड़ी आबादी के बावजूद अब तक कॉलोनी के लोगों को उनके आवास के पट्टे नहीं मिले हैं. कॉलोनीवासी नगर परिषद के चक्कर काट-काट कर परेशान हो चुके हैं, लेकिन उन्हें हमेशा केवल आश्वासन ही मिला है. कभी कहा जाता हैं कि ले-आउट अजमेर गये हुए हैं तो कभी कहा जाता हैं. कि जोनल प्लान पास होने के बाद ही बाकी काम होंगे. तीन बार जोनल प्लान की मीटिंग निरस्त हो चुकी है. ऐसे में अब कॉलोनीवासी परेशान हो चुके हैं.
आवास के पट्टे नहीं मिले
रामदेव कॉलोनी वार्ड नंबर 1 और 4 पटवार हल्का मदनगंज में है, जो लगभग 25 साल से अधिक पुरानी कॉलोनी है. यहां लगभग 5000 से अधिक की आबादी रहती है. इतनी बड़ी आबादी के बावजूद अब तक कॉलोनी के लोगों को उनके आवास के पट्टे नहीं मिले हैं. क्षेत्रवासियों ने सुनवाई नहीं होने पर भूख हड़ताल पर जाने की चेतावनी दी है.
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