Hathras Stampede: हाथरस भगदड़ को लेकर 'भोले बाबा' यानी सूरजपाल ने पहली बार कैमरे पर आकर अपनी बात रखी है. भोले बाबा ने मधुकर की गिरफ्तारी के बाद अपनी सफाई दी है. इस घटना को लेकर बाबा ने कहा हम दो जुलाई की घटना के बाद बहुत व्यथित हैं. प्रभु हमें दुख की घड़ी से उबरने की शक्ति दे.  बता दें कि गुरुवार को मुख्य आरोपी को पुलिस ने दबोच लिया है. यूपी पुलिस की एसटीएफ (STF) ने दिल्ली के एक अस्पताल से उसे पकड़ लिया. इस तरह इस मामले में अब तक सात लोगों की गिरफ्तार हो चुकी है.  


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मीडिया के सामने आया बाबा
2 जुलाई से गायब रहा बाबा अचानक मधुकर की गिरफ्तारी के बाद सुबह- सुबह मीडिया के सामने आया. मधुकर कहीं बाबा के खिलाफ बयान न दे दे इससे पहले बाबा ने सफाई दी है.


स्क्रिप्ट में देखकर पढ़ा
मधुकर की गिरफ्तारी के बाद बाबा को ये अहसास हो गया कि मधुकर के बयानों के आधार पर उसकी मुश्किल बढ़ सकती है. जब तक मधुकर गिरफ्तार नही हुआ था तब तक बाबा थोड़ा राहत में था. पुलिस ने अभी तक उसके नाम पर fir दर्ज नहीं की थी जिसकी वजह से सीधी संलिप्तता बाबा की पुलिस नहीं बता सकती थी. जैसे ही मधुकर गिरफ्तार हुआ, बाबा मीडिया के सामने आकर कागज़ पर लिखी हुए शब्दों को बोलता हुआ दिखा. जो बाबा घंटों भक्तों को प्रवचन देता है उसे स्क्रिप्ट तैयार करके दी गयी और ये इस बात से प्रमाणित होता है कि बाबा ने अपने बयान में अपनी आंखें नीचे ही रखी ताकि जो लिखा है उसे पढ़कर बोला जा सके.


नारायण हरि साकार के नाम से मशहूर सूरजपाल उर्फ भोले बाबा के सत्संग हादसे की जांच  के लिए गठित तीन सदस्यीय न्यायिक आयोग शनिवार को यूपी के हाथरस जाएगा. इस दौरान आयोग घटना स्थल का निरीक्षण करने के अतिरिक्त जिले के प्रशासनिक अधिकारियों के साथ बैठक भी कर सकता है.


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हादसे का मुख्य आरोपी देव प्रकाश मधुकर


गुरुवार को हाथरस भगदड़ कांड के मुख्य आरोपी देव प्रकाश मधुकर ने दिल्ली में सरेंडर किया.  गौरतलब है कि हाथरस में सत्संग के बाद हुए हादसे के लिए मुख्य आरोपी देव प्रकाश मधुकर पर एक लाख रुपये का इनाम रखा गया था. सूत्रों के अनुसार देवप्रकाश की पत्नी रंजना को पुलिस ने हिरासत में लिया था जिसके बाद मधुकर की लोकेशन ट्रैक हो गयी थी. देव प्रकाश करीब 10 साल पहले एटा जिले के अवागढ़ ब्लॉक की ग्राम पंचायत सलेमपुर गादरी के मजरा सलेमपुर को छोड़कर सिकंदराराऊ में आकर बस गया था.


आज हाथरस में जांच आयोग की तीन सदस्यीय टीम
इलाहाबाद हाईकोर्ट के रिटायर्ड न्यायाधीश बृजेश कुमार श्रीवास्तव की अध्यक्षता में तीन सदस्यीय टीम 6 जुलाई को हाथरस आएगी. जांच आयोग की इस टीम में पूर्व आईएएस हेमंत राव, पूर्व आईपीएस भवेश कुमार सिंह मौजूद रहेंगे. न्यायिक जांच आयोग की टीम सुबह 11 बजे हाथरस पहुंचेगी.  दोपहर एक बजे घटना स्थल फुलरई मुगलगढ़ी के लिए रवाना होंगे. उसके बाद  दोपहर दो बजे से चार बजे तक घटना स्थल का निरीक्षण करेंगे.  शाम छह बजे से आठ बजे के मध्य अपर पुलिस महानिदेशक आगरा जोन, मंडलायुक्त अलीगढ़ , पुलिस महानिरीक्षक अलीगढ़ सहित अन्य अफसरों से मुलाकात करेंगे. सूत्रों के मुताबिक 7 जुलाई को सुबह 9 बजे से दोपहर एक बजे तक जन सामान्य से मुलाकात की जाएगी. 


न्यायिक जांच आयोग का गठन
बता दें कि यूपी सरकार की ओर से सत्संग के बाद हुई भगदड़ हादसे के लिए बुधवार को न्यायिक जांच आयोग का गठन किया गया है. आयोग को दो महीने में जांच पूरी करनी होगी.  इस जांच में ये पता लगाया जाएगा कि ये हादसा था किसी तरह की साजिश.


प्रारंभिक जांच रिपोर्ट शासन को सौंपी
हाथरस में सत्संग की घटना पर एसआईटी ने प्रारंभिक जांच रिपोर्ट शासन को सौंप दी गई है. एसआईटी ने शुक्रवार को हाथरस के डीएम और एसपी से कई घंटे की पूछताछ की है.  प्रारंभिक जांच रिपोर्ट में घटना का जिम्मेदार आयोजकों को माना गया है.


कब हुआ हाथरस भगदड़ कांड
बता दें कि 2 जुलाई को हाथरस रतिभानपुरा में एक सत्संग कार्यक्रम खत्म होने के बाद भगदड़ मच गई थी. इस भगदड़ में बड़ी संख्या में लोग घायल हो गए थे और 121 से ज्यादा लोगों की मौत हो गई थी. जानकारी के मुताबिक इस आयोजन के लिए केवल 80 हजार लोगों के आने की अनुमति ली गई थी लेकिन बताया जा रहा है कि इस आयोजन में 2 लाख से ज्यादा लोग पहुंचे थे. बाबा अभी पुलिस की गिरफ्त से दूर है.


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